अब दुपहिया वाहनों की सर्विस कराना हुआ आसान, LetsService रखेगी आपके वाहन की सेहत का खयाल
- व्यस्तता के चलते बाइक सर्विस न करा पाने की दिक्कत ने दिया लेट्स सर्विस खोलने का आइडिया। - बीस हजार डॉलर लगाकर की सितंबर २०१५ में की कंपनी की शुरुआत। - नए निवेशक तलाश रही है कंपनी ताकि और विस्तार कर सके। अभी बैंगलूरु में ही काम कर रही है कंपनी।
कोई अच्छा आइडिया गहन सोच के बाद ही आपके दिमाग में आए यह जरूरी नहीं। वह कभी भी दिमाग में आ सकता है और हो सकता है कि यह विचार आपके जीवन में किसी बड़े बदलाव की नीव रख दे। ऐसा ही कुछ हुआ सचिन शिनॉय के साथ, जब वे अपनी पहली स्टार्टअप के आइडिया पर काम कर रहे थे। सचिन को अपने काम के सिलसिले में इधर-उधर काफी दौड़ भाग करनी पड़ रही थी। अत्यंत व्यस्तता के कारण सचिन अपनी बाइक की सर्विसिंग नहीं करा पा रहे थे और एक दिन अचानक उनकी बाइक खराब हो गई। जिसे ठीक कराने में उनके दस हजार रुपए लग गए और साथ ही उन्हें काफी परेशानियों का सामाना भी करना पड़ा। लेकिन इस कटु अनुभव ने उन्हें एक बहुत अच्छा आइडिया भी दे दिया। इसी साल सितंबर में उन्होंने अपने तीन अन्य मित्रों के साथ 'लेट्स सर्विसÓ की नीव रखी। सचिन के अलावा उनके तीन अन्य दोस्त हैं गिरिश गंगाधर, सचिन श्रीकांत और मनोज पारेकम। लेट्स सर्विस बैंगलूरु में एक ऑनडिमांड दोपहिया सर्विस उपलब्ध कराती है। कंपनी का दावा है कि वे सबसे कम दाम पर अच्छी व आसानी से अपनी सर्विसेज़ ग्राहकों को प्रदान करती है ताकि ग्राहकों को जरा भी परेशानी ना हो। ग्राहक बेहद आसान तरीके से उनकी सर्विस ले सकते हैं। लेट्स सर्विसेज द्वारा दी जा रही सर्विसेज को लेने के लिए ग्राहकों को केवल इनकी वेबसाइट में जाकर बाइक के पिकअप का शेड्यूल नोट कराना होता है उसके बाद कंपनी का मैकेनिक आपके दिए पते पर आकर बाइक के कागजात देखकर आपकी बाइक अपने साथ ले जाएगा और तय समय पर आपकी बाइक ठीक करके वापस बाइक को आपके घर में पहुंचा भी देगा। इससे ग्राहकों का काफी समय खराब होने से बचता है। ग्राहक अलर्ट और नोटिफिकेशन सर्विस के ज़रिए ग्राहक समय-समय पर काम का स्टेटस जान सकते हैं कि उनकी बाइक कितनी ठीक हो चुकी है और कितना और समय अभी ठीक होने में लगेगा।
लेट्स सर्विस का मकसद ग्राहकों को सुविधा प्रदान करना है। जो लोग काफी बिजी होते हैं और अमूमन सर्विसिंग के लिए अपने वाहनों को अपनी व्यस्तता के कारण ठीक नहीं करवा पाते, लेट्स सर्विस उनकी मदद करता है। इसके अलावा लेट्स सर्विस ग्राहकों को आसान भाषा में उनकी गाड़ी में आ रही दिक्कतों के बारे में भी बताता है। साथ ही उनकी गाड़ी का इंश्योरेंस कब खत्म हो रहा है? एमीशन टेस्ट सर्टिफिकेट कब रिन्यू कराना है? यह सब चीज़ें लेट्स सर्विस उपलब्ध कराता है।
कंपनी की लॉचिंग के मात्र चालीस दिनों में ही इन्हें बहुत अच्छा रिसपॉन्स मिलने लगा। लेट्स सर्विस से इस समय साठ मान्यताप्राप्त सर्विस सेंटर जुड़े हैं और यह लगभग बीस के करीब प्रतिदिन बाइक्स की सर्विसिंग कर रहे हैं। अगले दो महीने में इनका लक्षय प्रतिदिन की अस्सी से अधिक बाइक्स की सर्विसिंग करना है। सचिन बताते हैं कि वे ग्राहकों को बहुत ही रीज़नेबल दाम में सर्विस उपलब्ध कराते हैं।
सचिन बताते हैं कि उन्होंने लगभग बीस हजार डॉलर लगाकर कंपनी की शुरुआत की। इस पैसों से इन्होंने सबसे अधिक तकनीक पर काम किया। साथ ही एक अच्छी टीम को खड़ा किया ताकि ग्राहकों को अच्छी सर्विसेज दी जा सके। अभी यह लोग और भी नए निवेशक तलाश रहे हैं ताकि और पैसा कंपनी में लगाया जा सकते और कंपनी को तेजी से आगे बढ़ाने की प्रक्रिया शुरु हो। एक आंकड़े के अनुसार अकेले बैंगलूरु में लगभग साठ हजार बाइक्स हर महीने बिकती हैं और लगभग डेढ़ लाख बाइक्स की सर्विस हर महीने कराई जाती है। पिछले कुछ समय में कई ऐसी कंपनियां इस बाजार में आई हैं जो विभिन्न तरह की ऑटोमोबाइल सर्विगिंग प्रदान कर रही हैं। इन कंपनियों को काफी सफलता भी मिल रही है। सचिन बताते हैं कि कई कंपनियों के आने के बावजूद यह एक बहुत बड़ा बाजार है। और इस बाजार में अभी बहुत अधिक संभावनाएं हैं। जो भी कंपनी अच्छा काम करेगी ग्राहकों को बेहतर सुविधा उपलब्ध कराएगी और लोगों से जुड़कर काम करेगी, वही आगे जाएगी। सचिन को यकीन है कि लेट्स सर्विस का भविष्य काफी उज्जवल है क्योंकि वे ईमानदारी से काम कर रहे हैं। बाजार में तेजी से बढ़ रही प्रतिस्र्पधा उन्हें हर पल और बेहतर काम करने के लिए प्रेरित कर रही है।