Brands
Discover
Events
Newsletter
More

Follow Us

twitterfacebookinstagramyoutube
Yourstory

Brands

Resources

Stories

General

In-Depth

Announcement

Reports

News

Funding

Startup Sectors

Women in tech

Sportstech

Agritech

E-Commerce

Education

Lifestyle

Entertainment

Art & Culture

Travel & Leisure

Curtain Raiser

Wine and Food

YSTV

ADVERTISEMENT
Advertise with us

तस्वीरों के शौक ने रॉनिका कंधारी को बनाया स्टार

सऊदी राजघराने समेत बॉलीवुड स्टार्स की तस्वीरें खींचने वाली रॉनिका ने लग्ज़री लाइफ़स्टाइल वेडिंग फोटोग्राफी के अलावा 15 से ज्यादा किताबें लिखी....और 2012 में ‘चलो ड्राइवर’ नाम की एक फिल्म का निर्माण भी किया। रॉनिका पहली भारतीय महिला हैं, जो इस चुनौतीपूर्ण क्षेत्र में अपनी छाप छोड़ने में कामयाब रहीं हैं।

तस्वीरों के शौक ने रॉनिका कंधारी को बनाया स्टार

Monday June 27, 2016 , 5 min Read

अगर किसी कलाकार में नई दुनिया की खोज का जुनून हो, तो कलात्मकता को किसी एक शैली में सीमित कर रखना मुश्किल है। मकबूल फ़िदा हुसैन, किशोर कुमार और प्रसून जोशी जैसे बहुमुखी प्रतिभा वाले कलाकारों ने अपनी मुख्य कला के साथ ही कई दूसरी शैलियों में भी हाथ आज़माया और उसमें कामयाबी हासिल की। रॉनिका कंधारी भी ऐसी ही एक कलात्मक शख्सियत हैं, जिन्होंने लग्जरी लाइफस्टाइल वेडिंग फोटोग्राफी के क्षेत्र में एक दशक से भी ज्यादा वक्त से पथप्रदर्शक बनी हुईं हैं।

रॉनिका पहली भारतीय महिला हैं, जो इस चुनौतीपूर्ण क्षेत्र में अपनी छाप छोड़ने में कामयाब रहीं हैं। रॉनिका पहली भारतीय महिला हैं, जिन्हें सऊदी राजघराने की तस्वीरें उतारने का मौका मिला है। रॉनिका ने सुनील भारती मित्तल (एयरटेल), नारायण मूर्ति (इन्फोसिस) और अमृता अरोड़ा, जेनेलिया और रीतेश देशमुख समेत बॉलीवुड कलाकारों की भी तस्वीरें उतारीं हैं।

image


लग्जरी लाइफस्टाइल वेडिंग फोटोग्राफी के अलावा रॉनिका ने 15 से ज्यादा किताबें लिखी हैं और 2012 में ‘चलो ड्राइवर’ नाम की एक फिल्म का निर्माण भी किया। उनके काम को अंतर्राष्ट्रीय स्तर के जाने-माने प्रकाशनों जैसे ‘वोग’, ‘ग्रेजिया’, ‘इंडिया टुडे’ और ‘ब्राइड्स’ में पेश किया गया।

बतौर एक ग्राफिक डिजाइनर और बॉलीवुड फिल्म प्रोड्यूसर, रॉनिका के पास संवेदनशीलता और ज्ञान का भंडार है जिसकी मदद से वो इतनी लोकप्रिय हो सकी हैं। रॉनिका कहती हैं, “इस धरती पर शादी सबसे बेहतरीन आयोजनों में से एक है, लोग काफी खुश रहते हैं, पूरा माहौल खुशी और अलग-अलग भावनाओं से भरा होता है।” 

रॉनिका मानती हैं कि प्रत्येक शादी की एक अपनी कहानी होती है और हर शादी में अलग तरह के सरप्राइज और ड्रामा होते हैं, लेकिन ये सब तब होता है जब इन्हें अच्छी तरह से कैमरे में कैद किया जाए, क्योंकि अगर कोई एक मौका भी चूक जाए, तो फिर वो वापस नहीं हो सकता क्योंकि इसमें कोई रीटेक नहीं होता है। सिख परिवार से जुड़ी रॉनिका ने एपीजे इंस्टीट्यूट ऑफ डिजाइन, त्रिवेणी कला संगम और न्यूयॉर्क फिल्म एकेडमी से ग्रेजुएशन किया है।

image


पुरुष प्रधान क्षेत्र में महिला के लिए अपना नाम बनाना कितना मुश्किल है?

इस पुरुष प्रधान क्षेत्र (लग्जरी लाइफस्टाइल वेडिंग फोटोग्राफी) में एकमात्र महिला होने के नाते रॉनिका का सफर काफी चुनौतीपूर्ण और दिलचस्प रहा है। वो बताती हैं, “पुरुष फोटोग्राफर्स की भीड़ में भी मैं किसी न किसी तरह एक अनोखा एंगल जरूर निकाल लिया करती थी। ये आसान काम नहीं था। देर रात तक काम करना, भारी-भरकम कैमरे और लेन्स के साथ आठ से दस घंटे तक लगातार काम करना, काफी मुश्किल भरा होता था।”

रॉनिका को बड़ा मौका तब मिला जब ओसवाल ग्रुप के एग्जेक्यूटिव डायरेक्टर आदिश ओसवाल ने उन पर भरोसा किया और उन्हें काम का मौका दिया। उनके क्लाइंट में अल सऊद (सऊदी अरब का राजपरिवार), प्रफुल्ल पटेल, विलासराव देशमुख, सज्जन जिंदल (जिंदल स्ट्रीट), सुनील भारती मित्तल (एयरटेल), वेनु श्रीनिवासन (टीवीएस), अतुल पुंज (पुंज लॉयड) और मुंजाल (हीरो होंडा) जैसे बड़े नाम शामिल हैं।

रॉनिका इतनी कलात्मक कैसे रहती हैं?

रॉनिका को ये सब करने की प्रेरणा विभिन्न देशों की यात्रा करने, नए फैशन अपनाने, बेहतरीन वास्तुकला और विभिन्न कला की शैलियों को अपनाने से मिलती है। रॉनिका अपने साथी फोटोग्राफर्स से इस मायने में अलग हैं, क्योंकि वो तब तक संतुष्ट नहीं होती हैं जब तक कि उन्हें अपनी तस्वीर के लिए एक खास, अनोखा एंगल न मिल जाए और जिससे उनकी तस्वीर बेहद खूबसूरत न हो जाए। रॉनिका कहती हैं, “अलग-अलग एंगल्स की तलाश करती रहती हूं, (इसके लिए चाहे उन्हें दीवार फांदना पड़े या फिर हवा में लटकना पड़े), इस क्रम में मैं ऐसी तस्वीरें निकाल लेती हूं, जिनसे मैं भारत की बेहतरीन फोटोग्राफर्स की फ़ेहरिस्त में शामिल हो पाई हूं।”

image


कला में तकनीक का महत्व

रॉनिका का कहना है, “पलक झपकने के साथ ही तकनीकी में बदलाव आ रहे हैं, ऐसे में वक्त पर और बेहतर क्वालिटी का प्रोडक्ट देने के लिए काफी मेहनत करनी पड़ती है। अगर कोई नए और अत्याधुनिक उपकरण और पोस्ट प्रोडक्शन तकनीक की जानकारी रखता हो, तो वो अपनी कला और काम को अलग आयाम दे सकता है। आने वाला समय डिजिटल और सोशल मीडिया का है।”

आगे का सफ़र

रॉनिका ने अपनी जिंदगी का एक पन्ना पलटा, तो उनकी कलात्मकता दुनिया के सामने आ गई। ये एक अत्याधुनिक स्टूडियो और गैलरी थी जहां बेहतरीन फोटोग्राफी के नमूने रखे हुए थे। रॉनिका ने बताया, “ये नई जगह मेरी उस बड़ी सोच के लिए है जहां फोटोग्राफी को घर के अंदरूनी सजावट के तौर पर इस्तेमाल किया जाएगा।”

शौकिया फोटोग्राफरों और उद्यमियों के लिए सीख

रॉनिका कहती हैं, “प्रत्येक फोटोग्राफर का अपना एक स्टाइल होना चाहिए। किसी दूसरे की तस्वीरों को देखकर प्रेरित होना अच्छी बात है, लेकिन उसे दूसरों की तस्वीरों में खोना नहीं चाहिए, उनके तरीके में बहना नहीं चाहिए।” वो फोटोग्राफरों से अपील करती हैं कि वो खूब अभ्यास करें और अपने खुद की सोच और दूरदर्शिता को विकसित करें। बकौल रॉनिका, “आप जितना मेहनत करेंगे, उतने ही भाग्यशाली होंगे, क्योंकि मेहनत करना हमेशा फ़ायदेमंद होता है।”

वो आगे बताती हैं, “कलात्मकता और कारोबार दोनों एक ही खंभे के दो छोर हैं, लेकिन मुकाबले में अव्वल होने के लिए दोनों ही मामले में आपको गुणी होना होगा। आप अपने लिए खुद रास्ता बनाएँ, अगुवा बनें और दूसरों को आपके पीछे आने दें।”

(इस कहानी के मूल लेखक जयवर्धन हैं, जिसका अनुवाद साहिल ने किया है।)