Brands
YS TV
Discover
Events
Newsletter
More

Follow Us

twitterfacebookinstagramyoutube
Yourstory

Resources

Stories

General

In-Depth

Announcement

Reports

News

Funding

Startup Sectors

Women in tech

Sportstech

Agritech

E-Commerce

Education

Lifestyle

Entertainment

Art & Culture

Travel & Leisure

Curtain Raiser

Wine and Food

Videos

Absstem Technologies ने सरकार के सहयोग से 4 महीने में इंस्टॉल किए 129 ऑक्सीजन जनरेटर

लद्दाख में कारगिल और ज़ांस्कर ( क्रमशः 3,000 मीटर (9,800 फीट)), नागालैंड में मोकोकचुंग और कोहिमा, अरुणाचल प्रदेश के अंजॉ और लक्षद्वीप में कावारत्ती और अगत्ती द्वीप समेत कई प्रमुख अस्पतालों में कम से कम 29 ऑक्सीजन जनरेटर को एयरलिफ्ट करके इंस्टॉल किया गया था.

Absstem Technologies ने सरकार के सहयोग से 4 महीने में इंस्टॉल किए 129 ऑक्सीजन जनरेटर

Tuesday August 23, 2022 , 4 min Read

भारत में मेडिकल ऑक्सीजन को आसानी से उपलब्ध कराने के लिए प्रमुख मेडिकल टेक्नोलॉजी प्रोवाइडर और मेडिकल गैस जनरेटर निर्माता Absstem Technologies ने देश भर में ऑक्सीजन जनरेटर को बनाने और उन्हें इंस्टॉल करने के लिए भारत सरकार के साथ मिलकर काम किया है. कोविड-19 की दूसरी लहर के दौरान पूरे देश में मेडिकल ऑक्सीजन की भारी किल्लत हो गयी थी इसी समस्या को दूर करने के लिए कम्पनी ने यह पहल की.

भारत सरकार ने सबसे पहले जनवरी 2021 में Absstem को 25 राज्यों और 4 केंद्र शासित प्रदेशों के 129 अस्पतालों में मेडिकल ऑक्सीजन जनरेटर बनाने, उन्हें डिलीवर करने और इंस्टॉल करने का काम सौंपा. सरकार के सहयोग से Absstem ने 2021 में दूसरी लहर के दौरान मेडिकल ऑक्सीजन की कमी को पूरा करने के लिए देश में ऑक्सीजन की आपूर्ति सुनिश्चित करने में भी महत्वपूर्ण भूमिका निभाई थी. Absstem ने इस पहल के तहत देश के दूरस्थ इलाकों में भी ऑक्सीजन जनरेटर को इंस्टॉल करने का बीड़ा उठाया.

लद्दाख में कारगिल और ज़ांस्कर (क्रमशः 3,000 मीटर (9,800 फीट)), नागालैंड में मोकोकचुंग और कोहिमा, अरुणाचल प्रदेश के अंजॉ और लक्षद्वीप में कावारत्ती और अगत्ती द्वीप समेत कई प्रमुख अस्पतालों में कम से कम 29 ऑक्सीजन जनरेटर को एयरलिफ्ट करके इंस्टॉल किया गया था. हर घंटे 20 लाख लीटर ऑक्सीजन की उत्पादन क्षमता वाले ऑक्सीजन जनरेटर को इंस्टॉल करने के लिए Absstem ने क्षेत्र की ऊंचाई और गहराई की कोई फ़िक्र नहीं की और ऑक्सीजन जनरेटर को सफलतापूर्वक इंस्टॉल किया.

Absstem Technologies के सहसंस्थापक मोहित शर्मा ने इस उपलब्धि पर ख़ुशी व्यक्त करते हुए अपनी राय रखी. उन्होंने कहा, "हम लोग प्रोफेसनली काम करते हैं और अपनी खूबियों को अपने कामों में दर्शाते हैं. फिर चाहे कहीं उंचाई पर ऑक्सीजन जनरेटर को इंस्टाल करना हो या कहीं बहुत नीचे जगह पर, हमारी टीम ने हमेशा काम को अंजाम देने में कोई कोर कसर नहीं छोड़ी. लद्दाख के ज़ांस्कर क्षेत्र में हमने समुद्र तल से 5,500 मीटर से ज्यादा उंचाई पर ऑक्सीजन जनरेटर को इंस्टाल किया. दूरस्थ इलाके जैसे कि लक्ष्यदीप के कावारत्ती और अगत्ती देश से थोड़ा कटा क्षेत्र है इसलिए यहाँ पर हमारे ही द्वारा मेडिकल ऑक्सीजन की सप्लाई हो पा रही है."

अन्य दूरस्थ स्थानों जैसे पूर्व में अरुणाचल प्रदेश में रोइंग, पश्चिम में गुजरात में मोरबी, कुपवाड़ा, जम्मू और कश्मीर / ज़ांस्कर, और उत्तर में लेह, साथ ही दक्षिण में करिकलमपक्कम और पुडुचेरी में भी Absstem के द्वारा पर्याप्त रूप से मेडिकल ऑक्सीजन सप्लाई संभव हो पाई. फरवरी और जुलाई 2021 के बीच कोविड-19 की दूसरी लहर के दौरान भारत में मौत के आंकड़े दुनिया में सबसे ज्यादा थे, लेकिन Absstem जैसी कंपनियां न होती तो मौतों का यह आंकड़ा और भी ज्यादा होता.

Absstem ने PSA (प्रेशर स्विंग सोखना) तकनीक का उपयोग करके 2017 में मेडिकल ऑक्सीजन जनरेटर को बनाना शुरू किया था. कंपनी ने मेडिकल ऑक्सीजन को बनाने के लिए बहुत ही साधारण तरीके को अपनाया. उन्होंने वायुमंडलीय हवा का संचयन किया और ऑक्सीजन का उत्पादन करने के लिए केवल बिजली की इस्तेमाल किया. ऑक्सीजन बनाने का यह वैकल्पिक तरीका भारत में अब काफी आम हो गया है क्योंकि Absstem ने 2020 में उत्तर भारत के कई प्राइवेट अस्पतालों में ऑक्सीजन मशीनों के अपने पहले बैच को सफलतापूर्वक इंस्टाल कर दिया है.

Absstem Technologies ने खतरे की स्थिति में भी अपने फील्ड मार्शलों को तैनात करते हुए कोविड-19 स्थिति से निपटने का प्रयास किया है और महामारी के मुताबिक काम किया है. महामारी के दौरान अपने काम को बढ़ाने के लिए कंपनी ने दूसरी लहर के छह महीने के अन्दर अपनी टीम को 40 लोगों से बढ़ाकर 120 लोगों तक कर दिया. उत्तराखंड, हमीरपुर, झारखंड, मेघालय, मणिपुर, नागालैंड और भारत के कई अन्य हिस्सों में ऑक्सीजन प्लांट स्थापित करके कम्पनी ने अपनी ऑक्सीजन उत्पादन क्षमता में काफी वृद्धि की है ताकि देश में भविष्य में कभी भी मेडिकल ऑक्सीजन की कमी न हो.


Edited by रविकांत पारीक