कोरोना काल में आमदनी हुई बंद फिर भी जरूरतमंदों को मुफ्त में खाना खिला रहे हैं मुंबई के डब्बावाला
कोरोना महामारी के दौरान जरूरतमंद लोगों की मदद करने के लिए इस समय मुंबई के डिब्बावाले ने एक खास पहल के तहत आगे बढ़ रहे हैं। इस पहल के तहत मुंबई में तमाम स्थानों पर आज जरूरतमंद लोगों को मुफ्त में खाना खिलाया जा रहा है।
मुंबई में डब्बावाला को उनकी समय पाबंद सेवाओं के लिए जाना जाता है। कम पैसे लेकर बेहतरीन सेवा देने के लिए पहचाने जाने वाले डब्बावाला आज कोरोना काल के इस कठिन दौर में अपने नेक काम के साथ एक बार फिर चर्चा बटोर रहे हैं।
कोरोना महामारी के दौरान जरूरतमंद लोगों की मदद करने के लिए इस समय मुंबई के डिब्बावाले ने एक खास पहल के तहत आगे बढ़ रहे हैं। इस पहल के तहत मुंबई में तमाम स्थानों पर आज जरूरतमंद लोगों को मुफ्त में खाना खिलाया जा रहा है।
मुफ्त में शुद्ध खाना
अपनी सिग्नेचर सफ़ेद पोशाक और गांधी टोपी लगाए इन डब्बावाला के अनुसार इस दौरान अस्पतालों के बाहर मरीजों के साथ आए परिजनों के लिए एक वक्त के खाने का इंतजाम करना भी मुश्किल साबित हो रहा है और ऐसे में वे इन सभी जरूरतमंद लोगों की मदद के लिए लगातार खड़े हुए हैं।
डब्बावाला इस दौरान कोविड अस्पतालों के बाहर लोगों को मुफ्त में खाना बांटने का काम कर रहे हैं। डब्बावाला शुद्ध खाने के साथ ही लोगों को पानी की बोतल भी उपलब्ध करा रहे हैं।
खाना बांटने के दौरान इस काम में जुटे सभी डब्बावाला पूरी तरह से कोविड प्रोटोकॉल का पालन कर रहे हैं, इसी के साथ खाना लेने आए लोगों को भी इस दौरान सोशल डिस्टेन्सिंग का पालन कराया जा रहा है।
खुद जुटाया धन
मरीजों के साथ आए तीमारदारों के अनुसार डब्बावालों इस इस पहल के जरिये उन्हें ऐसे कठिन समय में भी खाना मिल पा रहा है जब लॉकडाउन के चलते अस्पतालों के बाहर खाना ढूँढना काफी मुश्किल साबित हो रहा है क्योंकि अधिकतर ढाबा और रेस्टोरेन्ट इस दौरान बंद चल रहे हैं।
इस नेक काम के लिए डब्बावाला खुद अपनी तरफ से पैसे दान करते हैं, इसी के साथ ट्रस्ट के माध्यम से भी मदद राशि जुटाई जाती है। इस नेक काम में जुटे डिब्बेवालों का मानना है कि उनकी परिस्थितियां चाहें जैसी भी हो लेकिन वह सभी मानवता को आगे रखते हुए इस काम में लगातार जुटे हुए हैं।
कठिन दौर से गुजर रहे हैं डब्बावाला
चाहें मुंबई की भयानक बरसात हो या तेज गर्मी, मुंबई के डब्बावाला अपने काम को कभी थमने नहीं देते हैं, लेकिन कोरोना महामारी के साथ लगे लॉकडाउन के चलते मुंबई के डब्बावालों का काम अब एकदम थम सा गया है, जिससे उनकी आजीविका इस दौरान बुरी तरह प्रभावित हुई है, हालांकि इस कठिन दौर के बावजूद डिब्बावाले लोगों की मदद को सबसे आगे खड़े नज़र आ रहे हैं।
मुंबई में लॉकडाउन के साथ लगाए गए प्रतिबंधों के तहत लोकल ट्रेनों पर भी रोक लगी हुई है ऐसे में अधिकतर डब्बावाला की आमदनी इस दौरान शून्य हो चुकी है। ऐसे स्थिति से निपटने के लिए कई डब्बावाले इस समय छोटे-मोटे काम कर रहे हैं। मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार पहले जहां एक डब्बावाला औसतन 20 से 22 हज़ार रुपये महीने कमा लेता था, वे अब बामुश्किल हर महीने 6 हज़ार रुपये भी नहीं कमा पा रहे हैं।
द हिन्दू की एक रिपोर्ट के अनुसार मुंबई के डब्बावाला ने इस दौरान रेस्टोरेंट से खाना डिलीवर करने को लेकर भी अनुबंध किया है, जिसके तहत इस कठिन दौर में उनकी आय के लिए नए स्रोत खुलते हुए नज़र आ रहे हैं।
Edited by रविकांत पारीक