फंडिंग में मंदी आने के बाद भी भारत दुनिया भर में चौथे स्थान पर रहा: Tracxn
चुनौतियों के बावजूद, स्टार्टअप इकोसिस्टम मजबूत बना हुआ है और सरकारी पहल और अनुकूल बाजार स्थितियों के असर से सुधार की दिशा में आगे बढ़ने के लिए तैयार है.
हाइलाइट्स
- 15 मार्च, 2024 तक, 2024 की पहली तिमाही में 1.6 बिलयन डॉलर की फ़ंडिंग प्राप्त हुई
- Shadowfax और Credit Saison ने 2024 की पहली तिमाही में सबसे अधिक फंडिंग जुटाते हुए 100 मिलियन डॉलर से अधिक की फंडिंग प्राप्त की
- इस तिमाही में कुछ अन्य सबसे ज़्यादा फंड पाने वाली कंपनियों में Capillary, Rentomojo और Captain Fresh शामिल हैं
- इस तिमाही में आईपीओ की संख्या 8 थी और पहली तिमाही में (15 मार्च तक) 2 यूनिकॉर्न बने, जिनके नाम हैं Perfios और Ola Krutrim
- कुल जितनी फंडिंग मिली उसमें बेंगलुरु सबसे आगे रहा, उसके बाद मुंबई और नोएडा रहे
प्रमुख मार्केट इंटेलिजेंस प्लेटफॉर्म
ने अपनी जियो क्वार्टरली इंडिया टेक रिपोर्ट - प्रथम तिमाही (15 मार्च तक) 2024 लॉन्च की है. यह रिपोर्ट भारत के तकनीकी इकोसिस्टम के बारे में कुछ जरूरी बातों को पेश करती है, जिसमें यह 2024 की पहली तिमाही में प्रमुख रुझानों और नयी घटनाओं पर नजर डालती है. चुनौतियों के बावजूद, स्टार्टअप इकोसिस्टम मजबूत बना हुआ है और सरकारी पहल और अनुकूल बाजार स्थितियों के असर से सुधार की दिशा में आगे बढ़ने के लिए तैयार है.रिपोर्ट के अनुसार, भारत ने 2024 की पहली तिमाही (15 मार्च तक) में मंदी का अनुभव किया. 2023 की पिछली तीन तिमाहियों में लगातार बढ़ोतरी के साथ 1.6 बिलियन डॉलर की फंडिंग जुटायी गयी थी. ये आंकड़े 2021 और 2022 की समान अवधि की तुलना में कम हैं, लेकिन फिर भी इस अवधि के दौरान जुटायी गयी फंडिंग के मामले में भारत ने दुनिया भर में चौथा सबसे ऊंचा स्थान हासिल किया. इससे हमें इसके उद्यमशीलता के जगत में लचीलेपन और मज़बूती का पता चलता है.
अपनी रिपोर्ट के लॉन्च पर बोलते हुए, Tracxn की को-फाउंडर नेहा सिंह ने कहा, "फंडिंग में मंदी और आर्थिक उतार-चढ़ाव के बावजूद, भारत का टेक स्टार्टअप इकोसिस्टम अभी भी विश्व स्तर पर सबसे अच्छा प्रदर्शन करने वाले तकनीकी इकोसिस्टम में से एक है. इस तिमाही में मंदी के बावजूद भी, हमें उम्मीद है कि सरकार की पहल और दुनिया की सबसे बड़ी युवा आबादी वाले बड़े उपभोक्ता आधार के कारण तेजी से वापसी होगी. भारत का मजबूत तकनीकी इकोसिस्टम और ड़ेमॉग्रफ़ी (जनसांख्यिकीय) से मिलने वाला लाभ एक शानदार भविष्य का वादा करते हैं और एक विश्व के स्तर पर तकनीकी नेतृत्व करने वाले के रूप में इसकी स्थिति को मजबूत करते हैं."
इस तिमाही में तकनीकी इकोसिस्टम के भीतर फंडिंग का डायनामिक (गतिशील) रूप दिखायी दिया, जिसमें विभिन्न स्टेज में अलग-अलग रुझान दिखाई दिए. आखिरी स्टेज की फंडिंग में 46% से अधिक की बड़ी गिरावट देखी गई, जबकि शुरुआती स्टेज की फंडिंग में 28% की उल्लेखनीय वृद्धि देखी गयी थी. कुल 1.6 बिलियन डॉलर की फंडिंग में से,
और Credit Saison को 100 मिलियन डॉलर से अधिक की सबसे अधिक फंडिंग प्राप्त हुई. साथ ही , और भी सबसे ज़्यादा फ़ंडिंग पाने वाली कंपनियों में से हैं. इस तिमाही में दो नए यूनिकॉर्न- और Ola Krutrim सामने आए- इससे भारत के तकनीकी क्षेत्र के लचीलेपन और क्षमता का पता चलता है. इसके अतिरिक्त, MediaAssist, WTI, Exicom और LawSikho सहित आठ तकनीकी कंपनियों के सार्वजनिक होने से आईपीओ संख्या में बढ़ोतरी हुई, और इससे इस क्षेत्र में निवेशकों के विश्वास के बारे में पता चलता है.रिपोर्ट इस बात पर रोशनी डालती है कि रिटेल, फिनटेक और एंटरप्राइज एप्लिकेशन 2024 की पहली तिमाही (15 मार्च तक) में सबसे अच्छा प्रदर्शन करने वाले क्षेत्र थे. रिटेल क्षेत्र को 494 मिलियन डॉलर की फंडिंग मिली, जो पिछली तिमाही की तुलना में 34% कम थी. एंटरप्राइज एप्लिकेशन ने 448 मिलियन डॉलर जुटाए, यह पिछली तिमाही में मिलने वाले 302 मिलियन डॉलर की तुलना में 48% की बढ़ोतरी दर्शाता है. फिनटेक को 429 मिलियन डॉलर की फंडिंग प्राप्त हुई, जो पिछली तिमाही के 289 मिलियन डॉलर से 48% अधिक है. फिनटेक क्षेत्र में निवेश बढ़ोतरी कैशलेस अर्थव्यवस्था को बढ़ावा देने वाले स्मार्टफोन के आने से देखी गई तेज बढ़ोतरी के प्रभाव हैं, और इसके अलावा अन्य अनुकूल नियामक नीतियों ने भी इस क्षेत्र को निवेशक की रुचि लगातार बनाए रखने में मदद की है.
कुल मिलाकर, इस तिमाही के दौरान 20 अधिग्रहण हुए, ये पिछली तिमाही से 33% कम थे और 2023 की पहली तिमाही में 45 अधिग्रहणों की तुलना में 55% की गिरावट आयी. विशेष अधिग्रहणों में क्लाउड सुरक्षा प्लेटफ़ॉर्म
शामिल है, जिसे और धोखाधड़ी जोखिम प्रबंधन प्लेटफ़ॉर्म , जिसे द्वारा अधिग्रहित किया जा रहा है. 2024 की पहली तिमाही (15 मार्च तक) में आठ कंपनियाँ सार्वजनिक हुईं, जबकि 2023 की पहली तिमाही में 2 कंपनियाँ सार्वजनिक हुई थीं, यह भारतीय तकनीकी इकोसिस्टम की बढ़ती परिपक्वता को दर्शाता है.2024 की पहली तिमाही (15 मार्च तक) के दौरान जुटायी गयी कुल फंडिंग में बेंगलुरु सबसे आगे रहा, इसके बाद मुंबई और नोएडा का स्थान रहा. इससे भारत के स्टार्टअप क्षेत्र में इन तकनीकी केंद्रों के महत्व का पता चलता है.
2024 की पहली तिमाही में शुरुआती निवेश में Venture Catalysts, We Founder Circle और Titan Capital आगे रहे, जबकि Peak XV Partners, Saama Capital और RTP Global शुरुआती स्टेज के निवेश में आगे थे. इस तिमाही में Elev8, Epiq Capital Advisors, और UC-RNT फंड ने बाद की स्टेज में बढ़त हासिल की.