RBI ने Razorpay, Cashfree पर से हटाया पेमेंट एग्रीगेटर्स का प्रतिबंध
RBI ने Razorpay, Cashfree, PayU, और Paytm समेत पेमेंट कंपनियों से पिछले साल फाइनल पेमेंट एग्रीगेटर लाइसेंस प्राप्त होने तक नए मर्चेंट्स को जोड़ने से रोकने का अनुरोध किया था.
भारतीय रिजर्व बैंक (RBI) ने
और पर एक साल का प्रतिबंध हटा दिया है, जिससे फिनटेक कंपनियों को अपने ऑनलाइन पेमेंट एग्रीगेटर संचालन को फिर से शुरू करने और नए मर्चेंट्स को जोड़ने की अनुमति मिल गई है.केंद्रीय बैंक ने Razorpay, Cashfree, PayU, और Paytm समेत पेमेंट कंपनियों से अनुरोध किया कि वे पिछले साल फाइनल पेमेंट एग्रीगेटर लाइसेंस प्राप्त होने तक नए मर्चेंट्स को जोड़ना बंद कर दें.
Cashfree Payments के प्रवक्ता ने कहा, "आरबीआई से पेमेंट एग्रीगेटर (PA) लाइसेंस हासिल करना कैशफ्री पेमेंट्स के लिए एक महत्वपूर्ण क्षण है, जो अनुपालन पर हमारे फोकस की पुष्टि करता है और एक अच्छी तरह से विनियमित भुगतान परिदृश्य के महत्व को उजागर करता है."
उन्होंने आगे कहा, "अब हम अपने पेमेंट गेटवे पर नए मर्चेंट्स को जोड़ रहे हैं. हम अपनी यात्रा के इस नए चरण को लेकर बहुत उत्साहित हैं, जहां हम तेजी से विकास करना जारी रखेंगे और पेमेंट सेक्टर में पसंदीदा एग्रीगेटर के रूप में अपने बाजार नेतृत्व को बनाए रखेंगे."
इसके अलावा, Razorpay को भुगतान निपटान अधिनियम, 2007 के तहत पेमेंट एग्रीगेटर के रूप में काम करने के लिए आरबीआई से अंतिम प्राधिकरण प्राप्त हुआ.
Razorpay के एक प्रवक्ता ने कहा, "नया PA लाइसेंस प्राप्त करने के बाद, हम अब नए ग्राहकों को जोड़ना फिर से शुरू कर रहे हैं और उन्हें अपने उद्योग-प्रथम भुगतान समाधानों के साथ सेवा देने के लिए प्रतिबद्ध हैं. हम इस नए विकास का स्वागत करते हैं और पहले पेमेंट गेटवे में से एक बनकर खुश हैं. आरबीआई से फाइनल PA लाइसेंस प्राप्त हो गया है."
भारत में प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने सितंबर 2022 में चीनी फर्जी लोन ऐप्स से संबंधित एक एफआईआर के कारण RazorPay, Paytm, Cashfree, और PayU के कार्यालयों पर छापा मारा, और उन्हें नए मर्चेंट्स को जोड़ने से रोक दिया गया.
(Translated by: रविकांत पारीक)