क्यों इस साल 8000 करोड़पति छोड़ गए भारत? इन देशों को बना रहे नया ठिकाना
एक ओर जहां दुनिया के शीर्ष अमीरों की लिस्ट में भारतीय उद्योगपतियों का डंका बज रहा है, वहीं बड़ी संख्या में भारतीय रईसों का देश से मोहभंग होता नजर आ रहा है.
दुनिया भर में अमीरों की संख्या बढ़ रही है. भारत में भी करोड़पतियों की लिस्ट में लगातार नए नाम जुड़ते जा रहे हैं. वहीं, अब ख़बर ये भी है कि करोड़पति देश छोड़कर जा रहे हैं. वे दूसरे देशों में अपना आशियाना बसा रहे हैं. ब्रिटेन की इन्वेस्टमेंट माइग्रेशन कंस्लटेंसी कंपनी Henley and Partners की रिपोर्ट के मुताबिक, सालभर में भारत के 8,000 करोड़पतियों ने देश छोड़ दिया है. इस आंकड़े के साथ अब भारत अमीरों के पलायन के मामले में टॉप-3 देशों में शामिल हो गया है.
एक ओर जहां दुनिया के शीर्ष अमीरों की लिस्ट में भारतीय उद्योगपतियों का डंका बज रहा है, वहीं बड़ी संख्या में भारतीय रईसों का देश से मोहभंग होता नजर आ रहा है.
Henley and Partners की रिपोर्ट के आंकड़ो पर गौर करें तो साफ है कि भारत समेत कई देशों के करोड़पति अपना देश छोड़कर दूसरे मुल्कों में बसने को ज्यादा तरजीह दे रहे हैं. अमीरों के पलायन करने में सबसे आगे रूस का नाम है. यहां से निकलकर दूसरे देशों में बसने वाले करोड़पतियों की संख्या इस साल 15,000 रही है, जबकि चीन से इस अवधि में 10,000 करोड़पति लोगों ने पलायन किया है.
रिपोर्ट के अनुसार, भारत के बाद इस सूची में हांगकांग चौथे और यूक्रेन पांचवें नंबर पर है. हांगकांग के तीन हजार और यूक्रेन के 2800 करोड़पतियों ने अपना देश छोड़ दिया है. वहीं, ब्रिटेन में भी 1500 करोड़पति लोगों ने अपना मुल्क छोड़ दिया है. हेनले के अनुसार, हाई नेटवर्थ इंडिविजुअल (एचएनआई) उन लोगों को कहा जाता है जिनकी संपत्ति 10 लाख डॉलर या उससे अधिक होती है.
अमीर क्यों छोड़ रहे मुल्क?
अरबपतियों के मुल्क छोड़ने की वजह समझने पर गौर करें तो - अरबपति लोग जहां बस रहे हैं वहां जाने का प्रमुख कारण अपनी आर्थिक मजबूती देख रहे हैं. देश की अर्थव्यवस्था और आंतरिक सुरक्षा को मुख्य मसला मानकर भी वे अपना रुख बदल रहे हैं. स्वास्थ्य, शिक्षा और बेहतर जीवनशैली जैसी मजबूत बुनियादी सुविधाएं भी इसका कारण हैं.
इसके अलावा, अपराध की दर में कमी के कारण भी अरबपति लोग इन देशों की ओर आकर्षित हो रहे हैं. बिजनेस के मौके दिखने के साथ टैक्स में राहत के बलबूते खुद को मजबूत करने की कोशिश भी एक बड़ी वजह कही जा सकती है.
ये देश बन रहे नया ठिकाना
देश छोड़कर जाने वाले ज्यादातर अमीर अरबपति संयुक्त अरब अमीरात (यूएई), ऑस्ट्रेलिया और सिंगापुर को अपना नया ठिकाना बना रहे हैं. रिपोर्ट के अनुसार, इस साल दुनियाभर से अपना देश छोड़ने वाले अरबपतियों में से 4000 ने यूएई, 3500 ने ऑस्ट्रेलिया और 2800 ने सिंगापुर को अपना नया ठिकाना बनाया है. वहीं कुछ लोगों ने मेक्सिको, ब्रिटेन, इंडोनेशिया समेत अन्य देशों में नए तरीके से जीवन जीने की तैयारी की है. पिछले दो दशक में 80 हजार अरबपति लोग ऑस्ट्रेलिया पहुंचे हैं.
एशिया के अरबपतियों को सिंगापुर खूब रास आ रहा है. वर्ष 2022 में करीब 2800 अरबपति लोग यहां पहुंचे हैं. इसका प्रमुख कारण सिंगापुर संपत्ति प्रबंधन के मामले में एशिया के सबसे बेहतर मुल्क के रूप में उभर रहा है. इसी को ध्यान में रखते हुए दुनियाभर से अरबपति सिंगापुर का रुख कर रहे हैं. यह देश एशियाई मूल के नागरिकों की पहली पसंद इसलिए भी है, क्योंकि वहां बड़ी तादाद में उनके मूल क्षेत्र के लोग यहां पहले से रह रहे हैं.
भारत के लिए चिंता की बात
रिपोर्ट की मानें तो दुनिया के दूसरे देशों की तुलना में भारत छोड़कर जाने वाले अरबपतियों को लेकर चिंतित होने की जरूरत है. भारत में करीब 3.57 लाख करोड़पति हैं. इसके अनुपात में देश छोड़ने वाले अमीरों की संख्या दो फीसदी है. वर्ष 2031 तक भारत में इनकी संख्या में 80 फीसदी की बढ़ोतरी होने का अनुमान है.