BSF जवान ने 11 लाख रुपये दहेज लेने से किया मना, सिर्फ 11 रुपये लेकर रचाई शादी
"एक बीएसएफ जवान ने अपनी शादी में 11 लाख रुपये का दहेज लेना से इनकार कर दिया। जयपुर के अंबाबाड़ी इलाके में जवान जितेंद्र सिंह ने शादी के समय वधूपक्ष द्वारा दिए जा रहे नगद 11 लाख रुपये वापस करते हुए सिर्फ 11 रुपये और एक नारियल लिया।"
एक सभ्य और विकसित समाज के लिए दहेज एक कुप्रथा है। दहेज लेना गैरकानूनी है और इसके लिए भारतीय दंड संहिता (आईपीसी) में 7 साल की सजा का प्रावधान भी है लेकिन ग्रामीण इलाकों की बात की जाए तो वहां आज भी दहेज लिया और दिया जाता है। अगर लड़का सरकारी नौकरी में है तो फिर दहेज लेना पक्का ही समझिए।
हालांकि ऐसे समय में भी कई युवा हैं जो दहेज ना लेकर बाकी लोगों के सामने एक अच्छा उदाहरण पेश कर रहे हैं। ऐसा ही एक उदाहरण राजस्थान की राजधानी जयपुर से सामने आया है।
यहां एक बीएसएफ जवान ने अपनी शादी में 11 लाख रुपये का दहेज लेना से इनकार कर दिया। जयपुर के अंबाबाड़ी इलाके में जवान जितेंद्र सिंह ने शादी के समय वधूपक्ष द्वारा दिए जा रहे नगद 11 लाख रुपये वापस करते हुए सिर्फ 11 रुपये और एक नारियल लिया। जैसे ही जवान ने 11 लाख रुपये लेने से मना किया तो एक बार लड़की के पापा घबरा गए। उन्होंने सोचा कि शायद शादी के इंतजामों से नाखुश होकर लड़के वाले दहेज लेने से मना कर रहे हैं।
बाद में जब बात सामने आई तो वहां पर मौजूद सभी लोग भावुक हो गए। जितेंद्र सिंह ने चंचल शेखावत के साथ सात फेरे लिए। टाइम्स ऑफ इंडिया की एक खबर के मुताबिक, लड़की के पिता गोविंद सिंह शेखावत ने कहा कि वह पहले तो घबरा गए। उन्होंने सोचा कि शायद दामाद किसी बात को लेकर नाराज हो गए हैं। उन्हें लगा कि शायद वे और अधिक पैसों की मांग करेंगे। बाद में उन्हें पता चला कि जितेंद्र और उनका परिवार दहेज के खिलाफ हैं।
वहीं अपने इस फैसले के बाद से चर्चा में आए दूल्हे जितेंद्र ने टाइम्स ऑफ इंडिया को बताया,
'जब मुझे पता चला कि मेरी होने वाली पत्नी एलएलबी और एलएलएम हैं। साथ ही अब पीएचडी कर रही हैं। उसी वक्त मैंने सोच लिया था कि वह मेरे और मेरे परिवार के योग्य है। तब मैंने दहेज ना लेने का फैसला किया और इस फैसले में मेरे परिवार ने भी मेरा साथ दिया। हमने शादी के दिन ही इसके के बारे में खुलासा करने का फैसला किया।'
जितेंद्र ने आगे कहा कि चंचल ज्यूडिशियल सर्विस की तैयारी कर रही हैं। अगर वह मजिस्ट्रेट बन जाती हैं तो यह मेरे परिवार के लिए 11 लाख रुपये से भी बड़ा तोहफा होगा। इस खबर के सामने आने के बाद से आसपास के लोग जितेंद्र की जमकर तारीफ कर रहे हैं। लोगों ने कहा कि शादी में जितेंद्र ने दहेज ना लेकर समाज के सामने एक अच्छा उदाहरण रखा है।