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इस भारतीय महिला को मिली पहली ओबामा फेलोशिप, दुनियाभर के 20 हजार लोगों में हुआ चयन

एक प्रतिष्ठित विश्व-स्तरीय फ़ेलोशिप प्रोग्राम में शामिल हुआ एक भारतीय महिला का भी नाम...

इस भारतीय महिला को मिली पहली ओबामा फेलोशिप, दुनियाभर के 20 हजार लोगों में हुआ चयन

Wednesday April 25, 2018 , 4 min Read

आपको यह जानकर बेहद ख़ुशी होगी और गर्व भी महसूस होगा कि इस प्रतिष्ठित विश्व-स्तरीय फ़ेलोशिप प्रोग्राम में एक भारतीय नाम भी मौजूद है, प्रीति हरमन। फ़िलहाल प्रीति, Change.org के साथ बतौर एग्ज़िक्यूटिव डायरेक्टर काम कर रही हैं।

प्रीति हरमन

प्रीति हरमन


प्रीति बताती हैं कि पिछले साल अपने भारत दौरे पर पूर्व अमेरिकी राष्ट्रपति ओबामा ने कहा था कि एक सबसे महत्वपूर्ण चीज़, जिसपर वह अपना ध्यान केंद्रित करना चाहते हैं, वह है नेतृत्व करने वाली अगली पीढ़ी। प्रीति कहती हैं कि यही उनके फ़ाउंडेशन का मुख्य लक्ष्य है।

हाल ही में अमेरिका के पूर्व राष्ट्रपति बराक ओबामा द्वारा शुरू किए गए फ़ाउंडेशन के फ़ेलोशिप प्रोग्राम के लिए इस सत्र (पहला सत्र) के प्रतिभागियों की सूची जारी की गई। इस सूची में दुनियाभर से 20 प्रतिभाशाली प्रतिभागियों को चुना गया, जो नागरिक और सामाजिक क्षेत्रों में उम्दा काम कर रहे हैं और परिवर्तन की मिसाल बन रहे हैं। आपको यह जानकर बेहद ख़ुशी होगी और गर्व भी महसूस होगा कि इस प्रतिष्ठित विश्व-स्तरीय फ़ेलोशिप प्रोग्राम में एक भारतीय नाम भी मौजूद है, प्रीति हरमन। फ़िलहाल प्रीति, Change.org के साथ बतौर एग्ज़िक्यूटिव डायरेक्टर काम कर रही हैं।

इस फ़ेलोशिप में 191 देशों से 20,000 आवेदन आए थे। फ़ेलोशिप के लिए चयनित हुए बाक़ी लोगों में यूएस, यूके, फ़िलीपींस, डॉमिनिकन रिपब्लिक, एल साल्वाडोर, माली, रवांडा, हंगरी, ग्रीस और दक्षिण अफ़्रीका के प्रतिभागी शामिल हैं। इसके अलावा एक अमेरिकी नागरिक (जो भारतीय-मूल के हैं), नवदीप कांग को भी इस फ़ेलोशिप के लिए चुना गया है।

प्रीति हरमन, तमिलनाडु में लोकप्रिय टूरिस्ट स्पॉट ऊंटी के नज़दीक गुडालुर नाम के एक छोटे से कस्बे की रहने वाली हैं। आज वैश्विक स्तर पर प्रतिष्ठा कमाने वाली प्रीति का बचपन एक साधारण मध्यम-वर्गीय परिवार में गुज़रा है। प्रीति लंबे समय से सामाजिक उत्थान के उद्देश्य के साथ कई प्रोजेक्ट्स से जुड़ी रही हैं। उन्होंने ओडिशा के जनजातीय समुदायों और कर्नाटक के दलित समुदायों के लिए भी काफ़ी काम किया है। इसके बाद वह Change.org से जुड़ गईं। यह एक सोशल एंटरप्राइज़ है, जिसकी मदद से यूज़र्स, डिसिजन मेकर्स के सामने अपने मुद्दे उठा सकते हैं और अपनी जरूरतों के लिए मुहिम की शुरूआत कर, एक बड़े तबके को अपने साथ जोड़ भी सकते हैं।

प्रीति हरमन को उनके असाधारण काम के लिए पहले ही काफ़ी प्रशस्ति मिल चुकी है। भारत के नीति आयोग, माय गवर्नमेंट.इन और संयुक्त राष्ट्र के द्वारा विमिन ट्रांसफ़ॉर्म नाम से एक मुहिम की शुरूआत की गई थी, जिसके अंतर्गत भारत को बदलने वाली 25 प्रभावी महिलाओं की सूची में प्रीति हरमन को जगह दी गई थी। ओबामा फ़ाउंडेशन की ऑफ़िशल वेबसाइट पर एक आर्टिकल के माध्यम से इस फ़ेलोशिप प्रोग्राम के बारे में विस्तार से जानकारी दी गई है। साथ ही, चयन प्रक्रिया के मानकों के बारे में भी बताया गयाः

"हम मानव समुदाय के विकास के लिए कई प्रभावी कदम उठा रहे हैं और ओबामा फ़ाउंडेशन के फ़ेलोशिप प्रतिभागी, इसका ही एक सशक्त उदाहरण हैं। ये सिविक लीडर्स, अपने काम में अनुशासन और कौशल के नए आयाम जोड़ते हैं; जिनमें समुदाय को संगठित करना, हेल्थकेयर तकनीक के लिए काम करना और कला संबंधित विकासशील काम शामिल होते हैं। इस चरण के बाद प्रतिभागी, विभिन्न प्रकार के आंदोलनों और सामाजिक मुहिम में अपने कौशल का प्रभावी इस्तेमाल करते हैं। हमारे फ़ेलोशिप प्रतिभागी, स्कूलों में सुधार के लिए शिक्षकों-अभिभावकों को सशक्त बनाने; सुनने में असक्षम बच्चों को शिक्षा का बराबर अवसर दिलाने; क्रिमिनल जस्टिस सिस्टम और रेफ़्यूजी कैंप्स में ट्रॉमा-इनफ़ॉर्म्ड केयर की अवधारणा को शुरू करने; और हेल्थकेयर सिस्टम की मदद से नशे के ख़िलाफ़ मुहिम चलाने जैसे कई प्रोग्राम्स पर काम करते हैं।

ये सभी प्रतिभागी या नागरिक नेता, अपने समुदायों के साथ मिलकर, उनके भविष्य को संवारने की जुगत में लगे हुए हैं। ये समझते हैं कि कई बार सकारात्मक परिवर्तन के लिए उन बंदिशों को तोड़ना पड़ता है, जो मानव समाज के अलग-अलग तबकों के बीच खड़ी हो गई हैं। इनकी सफलता के आंकड़े बयान करते हैं कि किस तरह समुदायों को साथ लेकर एक सहयोगी प्रयास से जटिल से जटिल सामाजिक समस्याओं के नए, मज़बूत और स्थायी हल निकाले जा सकते हैं।"

प्रीति बताती हैं कि पिछले साल अपने भारत दौरे पर पूर्व अमेरिकी राष्ट्रपति ओबामा ने कहा था कि एक सबसे महत्वपूर्ण चीज़, जिसपर वह अपना ध्यान केंद्रित करना चाहते हैं, वह है नेतृत्व करने वाली अगली पीढ़ी। प्रीति कहती हैं कि यही उनके फ़ाउंडेशन का मुख्य लक्ष्य है। प्रीति ने ट्विटर के माध्यम से ओबामा फ़ेलोशिप के लिए चयनित होने पर अपनी ख़ुशी ज़ाहिर की और कहा कि यह मौका उनके लिए बेहद गौरवपूर्ण है।

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