Brands
Discover
Events
Newsletter
More

Follow Us

twitterfacebookinstagramyoutube
Yourstory

Brands

Resources

Stories

General

In-Depth

Announcement

Reports

News

Funding

Startup Sectors

Women in tech

Sportstech

Agritech

E-Commerce

Education

Lifestyle

Entertainment

Art & Culture

Travel & Leisure

Curtain Raiser

Wine and Food

YSTV

ADVERTISEMENT
Advertise with us

सरकार लिथियम-आयन बैटरी के निस्तारण से जुड़ी किसी भी रिपोर्ट को गंभीरता से लेगी: नितिन गडकरी

केंद्रीय मंत्री नितिन गडकरी ने कहा कि भारत अगले पांच साल में इलेक्ट्रिक कारों, बसों, ट्रकों का निर्यात करने वाला प्रमुख देश बन जाएगा.

सरकार लिथियम-आयन बैटरी के निस्तारण से जुड़ी किसी भी रिपोर्ट को गंभीरता से लेगी: नितिन गडकरी

Wednesday December 06, 2023 , 3 min Read

सड़क परिवहन एवं राजमार्ग मंत्री नितिन गडकरी ने बुधवार को राज्यसभा में कहा कि सरकार लिथियम-आयन बैटरी के निस्तारण के पर्यावरण पर दुष्प्रभावों के बारे में किसी भी रिपोर्ट को गंभीरता से लेगी और वह विभिन्न अपशिष्ट पदार्थों के पुनर्चक्रण को बढ़ावा दे रही है. गडकरी उच्च सदन में प्रश्नकाल के दौरान पूरक सवालों का जवाब दे रहे थे.

कांग्रेस सदस्य रंजीत रंजन ने लिथियम-आयन बैटरी की विनिर्माण इकाइयों में श्रमिकों पर प्रतिकूल प्रभाव पड़ने का मुद्दा उठाया था. कांग्रेस सदस्य ने एक रिपोर्ट का हवाला देते हुए कहा कि इलेक्ट्रिक वाहनों में प्रयुक्त बैटरियों की उपयोगिता खत्म होने के बाद उनके निस्तारण की प्रक्रिया से भी पर्यावरण पर असर पड़ता है और पृथ्वी जहरीली हो जाती है वहीं मिट्टी की उर्वरता भी खराब हो जाती है.

इसके जवाब में गडकरी ने कहा, “हमारे पास ऐसी कोई रिपोर्ट नहीं है. अगर इस तरह की कोई भी बात हमारे सामने आती है तो हम इस पर विचार करेंगे. हम इस मुद्दे को गंभीरता से लेंगे और लिथियम-आयन बैटरी कबाड़ के पुनर्चक्रण पर काम करेंगे.”

उन्होंने कहा, "यह भविष्य की तकनीक है. हमारी सरकार भविष्य की तकनीक, दृष्टिकोण और योजना के साथ इस दिशा में काम कर रही है." गडकरी ने कहा कि भारत अगले पांच साल में इलेक्ट्रिक कारों, बसों, ट्रकों का निर्यात करने वाला प्रमुख देश बन जाएगा. उन्होंने कहा कि सरकार ने पर्यावरण की रक्षा के लिए सड़क निर्माण में नगरों के ठोस कचरे का उपयोग किया है.

गडकरी ने कहा, “हमारा देश हर साल 16 लाख करोड़ रुपये से अधिक मूल्य का जीवाश्म ईंधन आयात करता है और दिल्लीवासियों को यह बताने की जरूरत नहीं है कि यहां प्रदूषण का स्तर क्या है.” उन्होंने बताया कि जहां पेट्रोल वाहनों को चलाने की लागत 100 से 110 रुपये है, वहीं इलेक्ट्रिक वाहनों की लागत केवल 10 रुपये है. उन्होंने कहा कि लिथियम-आयन बैटरी की लागत पहले 150 अमेरिकी डॉलर थी जो अब घटकर 115 डॉलर हो गई है. गडकरी ने कहा कि वर्तमान में पेट्रोल या डीजल वाहनों की तुलना में इलेक्ट्रिक वाहन की लागत अधिक है.

उन्होंने कहा, “इलेक्ट्रिक वाहन लोकप्रिय हैं. एकमात्र समस्या यह है कि पेट्रोल व डीजल वाहन और ई-वाहन के बीच लागत का अंतर … ई-वाहन की लागत अधिक है और यह संख्या पर निर्भर करता है. जब संख्या बढ़ेगी, तो मेरा अनुमान है कि डेढ़ साल के अंदर पेट्रोल, डीजल और ई-वाहनों की कीमत एक समान हो जाएगी.” उन्होंने कहा कि भारत 1,200 टन लिथियम-आयन का आयात करता है और जम्मू-कश्मीर में इसका विशाल भंडार मिला है.