मॉडर्ना के कोविड टीके को भारत में जल्द मिल सकती है नियामक मंजूरी
भारत का औषधि महानियंत्रक (डीसीजीआई) मॉडर्ना के कोविड-19 रोधी टीके के आपात उपयोग को जल्द ही मंजूरी दे सकता है।
"मॉडर्ना ने एक अलग पत्र में सूचना दी है कि अमेरिका ने यहां उपयोग के लिए कोविड-19 के अपने टीके की एक विशेष संख्या में खुराक ‘कोवैक्स’ के जरिए भारत सरकार को दान में देने की सहमति दी है। साथ ही, उसने इसके लिए केन्द्रीय औषधि मानक नियंत्रण संगठन (सीडीएससीओ) से मंजूरी मांगी है।"
नयी दिल्ली : भारत का औषधि महानियंत्रक (डीसीजीआई) मॉडर्ना के कोविड-19 रोधी टीके के आपात उपयोग को जल्द ही मंजूरी दे सकता है। आधिकारिक सूत्रों ने मंगलवार को यह जानकारी दी।
मॉडर्ना ने एक अलग पत्र में सूचना दी है कि अमेरिका ने यहां उपयोग के लिए कोविड-19 के अपने टीके की एक विशेष संख्या में खुराक ‘कोवैक्स’ के जरिए भारत सरकार को दान में देने की सहमति दी है। साथ ही, उसने इसके लिए केन्द्रीय औषधि मानक नियंत्रण संगठन (सीडीएससीओ) से मंजूरी मांगी है। वहीं, भारतीय बहुराष्ट्रीय औषधि कंपनी सिपला ने अमेरिकी फार्मा कंपनी की ओर से इन टीकों के आयात और विपणन की अनुमति मांगी है।
उल्लेखनीय है कि कोवैक्स कोविड-19 के टीके के न्यायसंगत वितरण के लिए एक वैश्विक पहल है।
सूत्रों के मुताबिक किसी भी वक्त यह मंजूरी मिलने की संभावना है क्योंकि सीडीएससीओ भारत में महामारी की स्थिति को देखते हुए जनहित में इस देश में आपात उपयोग के लिए सिपला को कोविड-19 के मॉडर्ना के टीके के आयात की अनुमति देने के पक्ष में है।
सिपला ने सोमवार को एक आवेदन देकर इस टीके के आयात की अनुमति मांगी है। उसने 15 अप्रैल और एक जून के डीसीजीआई नोटिस का हवाला दिया है। नोटिस में कहा गया था कि यदि टीके को आपात उपयोग अधिकार (ईयूए) के लिए अमेरिकी खाद्य एवं औषधि प्रशासन (यूएसएफडीए) द्वारा अनुमति दी जाती है, तो टीके को बिना ‘ब्रिजिंग ट्रायल’ के विपणन का अधिकार दिया जा सकता है।
इसके अलावा, हर खेप को केंद्रीय औषधि प्रयोगशाला (सीडीएल), कसैली से जांच कराने की जरूरत की छूट मिल सकती है।
(साभार : PTI)