Zomato के 1,000 करोड़ रुपये के शेयर बेचेगा Softbank: रिपोर्ट
सॉफ्टबैंक के विज़न फंड (ग्रोथ) के पास वर्तमान में ज़ोमैटो में 2.2% हिस्सेदारी है.
मनीकंट्रोल की एक रिपोर्ट के अनुसार, Softbank शुक्रवार को फूड डिलीवरी कंपनी
में अपनी 1,000 करोड़ रुपये से अधिक की हिस्सेदारी बेच सकता है.रिपोर्ट में कहा गया है कि सॉफ्टबैंक के विज़न फंड (ग्रोथ) के पास वर्तमान में ज़ोमैटो में 2.2% हिस्सेदारी है और 20 अक्टूबर को ब्लॉक डील के माध्यम से अपनी हिस्सेदारी का 1.1% कम करने की उम्मीद है.
रिपोर्ट के अनुसार, यह सौदा 109.4-111.65 रुपये प्रति शेयर की न्यूनतम कीमत पर पेश किए जाने की उम्मीद है, जो या तो बिना किसी छूट के या गुरुवार के समापन मूल्य से 2% कम हो सकता है.
मीडिया रिपोर्ट के मुताबिक, Kotak Mahindra Capital इस लेनदेन का ब्रोकर था.
YourStory स्वतंत्र रूप से इस ख़बर की पुष्टि नहीं कर सका.
अगस्त में, सॉफ्टबैंक ने एक ब्लॉक डील के जरिए दीपिंदर गोयल की अगुवाई वाली फर्म में 940 करोड़ रुपये के शेयर बेचे और अक्टूबर में Policybazaar की पैरेंट कंपनी PB Fintech में 2.54% हिस्सेदारी 876 करोड़ रुपये में बेच दी.
बीएसई पर उपलब्ध थोक सौदों के आंकड़ों के अनुसार, Tiger Global के इंटरनेट फंड III ने अगस्त 2023 में 91.01 रुपये प्रति शेयर के हिसाब से 12.34 करोड़ शेयर बेचकर Zomato में अपनी शेष हिस्सेदारी 1,123 करोड़ रुपये में बेच दी.
वहीं, गुरुवार को ज़ोमैटो के शेयर 1.59% गिरकर 111.40 रुपये पर बंद हुए.
Blinkit की कमाई
इस बीच, Zomato की ग्रोसरी डिलीवरी शाखा Blinkit ने पिछले वित्तीय वर्ष की तुलना में वित्त वर्ष 2023 में ऑपरेटिंग रेवेन्यू में 207% की वृद्धि दर्ज की और यह 724 करोड़ रुपये हो गया. इसने FY22 में ऑपरेशंस से 236 करोड़ रुपये का रेवेन्यू अर्जित किया.
ये आंकड़े ज़ोमैटो द्वारा अधिग्रहण के बाद से ब्लिंकिट के पहले पूर्ण-वर्ष के आंकड़े दर्शाते हैं.
हालांकि, एक प्राइवेट मार्केट इंटेलीजेंस प्लेटफॉर्म, Private Circle Research द्वारा प्राप्त वित्तीय आंकड़ों के अनुसार, उच्च डिलीवरी-संबंधित और कर्मचारी खर्चों के कारण क्विक कॉमर्स फर्म का कुल खर्च 1,262 करोड़ रुपये से 53% बढ़कर 1,939 करोड़ रुपये हो गया.
ज़ोमैटो ने जून 2022 में 626 मिलियन डॉलर के क्विक कॉमर्स प्लेटफॉर्म के मूल्य वाले सौदे में अलबिंदर ढींडसा के नेतृत्व वाले ब्लिंकिट का अधिग्रहण किया, जो कि अत्यधिक प्रतिस्पर्धी क्विक कॉमर्स सेक्टर में फूड डिलीवरी के प्रवेश को चिह्नित करता है.
ज़ोमैटो ने वित्त वर्ष 2024 की अप्रैल-जून तिमाही में पहली बार 2 करोड़ रुपये का मुनाफा कमाया, जो उसके पिछले मार्गदर्शन से काफी पहले था, जहां उसने कहा था कि उसे वित्त वर्ष 2024 की दूसरी तिमाही तक इस मील के पत्थर तक पहुंचने की उम्मीद है.
सीईओ दीपिंदर गोयल के अनुसार, ब्लिंकिट की GOV कुछ बड़े शहरों में ज़ोमैटो की GOV के बहुत करीब है और अगले 10 वर्षों में क्विक-कॉमर्स फर्म की ज़ोमैटो से अधिक वैल्यू बढ़ने की संभावना है.
(Translated by: रविकांत पारीक)
Edited by रविकांत पारीक