कंपनी अधिनियम के तहत प्रावधानों को आपराधिक कार्रवाई से मुक्त करने का काम जारी: PM मोदी
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने अपनी सरकार के कारोबार के अनुकूल रवैये का शुक्रवार को जिक्र करते हुए कहा कि देश में कारोबार को सुगम बनाने के लिये कंपनी अधिनियम के प्रावधानों को आपराधिक कार्रवाई से मुक्त करने पर काम किया जा रहा है।
उन्होंने एसोचैम के एक कार्यक्रम में कहा कि कॉरपोरेट कर की दरों में हुई हालिया कटौती ने इसे कंपनियों के लिये सर्वकालिक निचले स्तर पर ला दिया है, हालांकि उन्होंने कहा कि श्रमिकों का भी ध्यान रखा जाना चाहिये।
प्रधानमंत्री ने कहा कि
"कंपनी पंजीकृत करने में पहले कई महीनों का समय लगता था, जिसे अब घटाकर महज कुछ घंटे पर ले आया गया है। बेहतर बुनियादी संरचना ने हवाईअड्डों और बंदरगाहों पर कानूनी प्रक्रिया में लगने वाले समय को कम किया है।"
मोदी ने कहा कि व्यापार एवं उद्योग जगत के सुझावों पर माल एवं सेवा कर (जीएसटी) में गतिशील परिवर्तन लाये गये हैं। उन्होंने कहा कि पिछले तीन साल में कारोबार सुगमता की दिशा में सबसे बेहतर प्रदर्शन करने वाले शीर्ष 10 देशों में भारत भी एक है।
मोदी ने कहा,
"महज तीन साल में हम कारोबार सुगमता सूचकांक में 142वें स्थान से छलांग लगाकर 63वें स्थान पर पहुंच गये हैं।"
मोदी ने कहा कि कंपनी अधिनियम के कई प्रावधानों को आपराधिक कार्रवाई से मुक्त कर दिया गया है तथा अभी और प्रावधानों को आपराधिक कार्रवाई से मुक्त करने पर काम जारी है।
इसके पहले भी अक्टूबर महीने में ऐसी खबरें आई थीं कि वाणिज्य मंत्रालय छोटी कंपनियों के लिए कानून के उल्लंघन पर जुर्माने की राशि को भी कम करने की कोशिश कर सकता है. सरकार के इस कदम का फायदा 11 लाख रजिस्टर्ड कंपनियों में से 8 लाख को मिलने का अंदाजा था।
सरकार ने इस दिशा में बढ़ने के लिए बकायदा कमेटी का भी गठन किया था, जिसमें कोटक महिंद्रा बैंक के एमडी उदय कोटक और जाने-माने वकील शार्दुल श्रॉफ शामिल थे।
शीत सत्र शुरू होने के पहले ही सरकार ने इस कानून में संशोधन कर जेल जाने वाले प्रावधानों की संख्या को 81 से घटाकर 66 कर दिया था। मोदी सरकार शुरुआत से ही कॉर्पोरेट को साथ देने का वादा करती आई है।