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Google को भरना ही पड़ेगा 1337 करोड़ रुपये का जुर्माना, NCLAT से भी नहीं मिली राहत

NCLAT की दो सदस्यों की टीम ने गूगल को दिशानिर्देशों का पालन करने और जुर्माने की राशि जमा कराने के लिए 30 दिन का समय दिया है. हालांकि, NCLAT की बेंच के चेयरपर्सन जस्टिस अशोक भूषण और सदस्य आलोक श्रीवास्तव ने सीसीआई के आदेश में कुछ बदलाव भी किए हैं.

Google को भरना ही पड़ेगा 1337 करोड़ रुपये का जुर्माना, NCLAT से भी नहीं मिली राहत

Wednesday March 29, 2023 , 3 min Read

एंड्रॉयड एप्लिकेशन के जरिए प्रतिस्पर्धा विरोधी व्यापार के लिए भारतीय प्रतिस्पर्धा आयोग (CCI) द्वारा Google पर लगाए गए जुर्माने को नेशनल कंपनी लॉ अपीलेट ट्रिब्यूनल (NCLAT) ने भी सही ठहराया है. इसका मतलब है कि अमेरिका की दिग्गज टेक्नोलॉजी कंपनी गूगल को 1337.76 करोड़ रुपये चुकाने पड़ेंगे.

NCLAT की दो सदस्यों की टीम ने गूगल को दिशानिर्देशों का पालन करने और जुर्माने की राशि जमा कराने के लिए 30 दिन का समय दिया है. हालांकि, NCLAT की बेंच के चेयरपर्सन जस्टिस अशोक भूषण और सदस्य आलोक श्रीवास्तव ने सीसीआई के आदेश में कुछ बदलाव भी किए हैं.

इसके साथ ही, NCLAT की बेंच ने गूगल के इस दावे को खारिज कर दिया कि सीसीआई द्वारा की गई जांच में प्राकृतिक न्याय के सिद्धांत की अवहेलना की गई है.

बुधवार को सुनाए गए अपने फैसले में ट्रिब्यूनल ने कहा कि सीसीआई ने अपनी जांच में गूगल का जो प्रतिस्पर्धा रुख पाया, वह सही था और कंपनी जुर्माना भरने के लिए जिम्मेदार है. हालांकि, NCLAT ने उन 10 एंटीट्रस्ट उपायों को रद्द कर दिया जो कि गूगल को बिजनेस मॉडल में बदलाव लाने के लिए सुझाए गए थे. इसका मतलब है कि अब गूगल को अब प्ले स्टोर के अंदर थर्ड पार्टी ऐप स्टोर को मंजूरी देने की आवश्यकता नहीं होगी.

NCLAT का यह आदेश गूगल के लिए कुछ हद तक राहत भरा है क्योंकि जनवरी में सुप्रीम कोर्ट ने CCI द्वारा गूगल को अपने बिजनेस में बदलाव के लिए सुझाए गे 10 में से किसी भी उपाय पर राहत देने ने इनकार कर दिया था शीर्ष अदालत ने ट्रिब्यूनल से मामले की मेरिट और नियम के आधार पर मार्च के अंत तक सुनवाई करने को कहा था.

आपको बता दें कि साल 2022 में गूगल पर प्ले स्टोर नीतियों के संबंध में अपने वर्चस्व का दुरुपयोग करने के लिए भारतीय प्रतिस्पर्धा आयोग (CCI) ने 1,337.76 करोड़ रुपये का जुर्माना लगाया था. भारतीय प्रतिस्पर्धा आयोग ने गूगल पर एंड्रॉयड मोबाइल उपकरण क्षेत्र में अपनी मजबूत स्थिति का दुरुपयोग कर प्रतिस्पर्धा को बाधित करने के लिए यह जुर्माना लगाया था. जिसके बाद गूगल ने कोर्ट का दरवाजा खटखटाया.

राहत नहीं मिलने पर गूगल ने NCLAT से गुहार लगाई थी, जिस पर NCLAT ने अंतरिम राहत देने से इनकार कर दिया था. आयोग ने अपने आदेश में गूगल को अनुचित कारोबारी गतिविधियां बंद करने और कामकाज के तरीकों में बदलाव करने का निर्देश भी दिया था. जिसके बाद गूगल ने सुप्रीम कोर्ट में जुर्माने के खिलाफ अपनी याचिका दायर कर जुर्माने पर अंतरिम रोक लगाने की मांग की थी.

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Edited by Vishal Jaiswal