कम लंबाई के साथ सेना में बने अधिकारी, राज्य के मुख्यमंत्री ने जताया गर्व
भारतीय सेना में कम लंबाई वाले जवानों दिखना काफी दुर्लभ है, लेकिन जब हौसले मौजबूत हों तब कुछ भी संभव है।
सेना में भर्ती होकर देश की सेवा करने का सपना तो हर कोई देखता है, लेकिन इसे पूरा करने के लिए सेना की चयन प्रक्रिया से होते हुए कड़े मापदण्डों पर खरा उतरना होता है। हाल ही में हुई आईएमए (भारतीय सैन्य अकादमी) की पासिंग आउट परेड में एक ऐसे ही बुलंद हौसलों से लैस एक खास जवान को सेना में अधिकारी बनने का मौका मिला है।
पासिंग आउट परेड में शामिल हुए लेफ्टिनेंट लालमछुआना सेना में अधिकारी बन गए हैं, हालांकि उनकी लंबाई औसतन कम है। उनकी तस्वीर को ट्विटर पर मिज़ोरम के मुख्यमंत्री जोरामथांगा ने शेयर की है।
मुख्यमंत्री जोरामथांगा ने यह तस्वीर शेयर करते हुए लालमछुआना पर गर्व जताया है। मुख्यमंत्री ने बताया है कि लालमछुआना का चयन सेना की आर्टिलरी रेजीमेंट के लिए हुआ है।
सीएम जोरामथांगा ने यह तस्वीर 14 जून को ट्विटर पर शेयर की थी, जिसे 6 सौ से अधिक बार लाइक किया गया है। सीएम के इस ट्वीट पर कमेन्ट करते हुए लोग लालमछुआना को बधाई दे रहे हैं। तस्वीर में लालमछुआना अपने दो साथी अधिकारियों के साथ खड़े हुए हैं।
गौरतलब है कि सेना में आमतौर पर कम लंबाई वाले सैनिकों का चयन आम नहीं है। सेना के मापदण्डों के अनुसार जवान की न्यूनतम हाइट 157 सेंटीमीटर होनी चाहिए, जबकि पूर्वोत्तर, गोरखाओं और असमिया क्षेत्र के लोगों के लिए न्यूनतम लंबाई 152 सेंटीमीटर है।