तीन साल बाद पुस्तक प्रेमियों के लिए लौट रहा है दिल्ली का विश्व पुस्तक मेला
विश्व पुस्तक मेला दिल्ली के प्रगति मैदान में 25 फरवरी से लेकर 5 मार्च तक चलेगा.
पुस्तक प्रेमियों की होली-दिवाली तो पुस्तक मेला ही होता है. दिल्ली के प्रगति मैदान में हर साल लगने वाला वर्ल्ड बुक फेयर ऐसा ही एक आयोजन है, जिसका हर पुस्तक प्रेमी को इंतजार रहता है. लेकिन कोविड पैनडेमिक के चलते गुजरे तीन सालों से विश्व पुस्तक मेले का आयोजन नहीं हो पाया. तीन साल बाद ये मेला फिर से किताब के चाहने वालों के लिए खुशखबरी लेकर आया है.
दिल्ली के प्रगति मैदान में 25 फरवरी से लेकर 5 मार्च तक चलने वाले इस पुस्तक मेले की इस वर्ष की थीम है- आजादी के अमृत महोत्सव (Azadi ka Amrit Mahotsav).
इस साल इस मेले की एक खास बात और है कि इस साल इस पुस्तक को 50 साल पूरे हो जाएंगे. हर वर्ष की तरह इस बार भी मेले में देश-विदेश के सैकड़ों प्रकाशक हिस्सा ले रहे हैं. साथ ही भाषाई कर्म से जुड़े हुए लेखक, शिक्षक, पत्रकार, प्रकाशक और स्टूडेंट्स इस वृहद आयोजन में शिरकत करने वाले हैं.
पुस्तक प्रेमियों को यहां अपने पसंदीदा लेखकों की किताबों के साथ-साथ विभिन्न प्रकार के साहित्यिक और सांस्कृतिक आयोजनों में हिस्सा लेने का भी अवसर मिलेगा. यहां आप अपने प्रिय लेखकों से मुलाकात भी कर सकते हैं.
पुस्तक मेले की एक बड़ी खासियत ये है कि पुरानी किताबों के अलावा बहुत सारी नई प्रकाशित किताबों का लांच भी बुक फेयर में होता है. यह आयोजन सभी पुस्तक प्रेमियों के लिए खुले हैं.
कोविड पैनडेमिक के दौरान वर्ष 2021 में एक बार वर्चुअल तरीके से बुक फेयर आयोजित करने का प्रयास किया गया था, लेकिन यह प्रयास उतना सफल नहीं रहा.
वयस्कों की किताबों के अलावा पुस्तक मेले का एक बड़ा आकर्षक बाल किताबों वाला हॉल होता है, जहां देश-दुनिया के बच्चों की किताबें प्रकाशित करने वाले प्रकाशक मौजूद होते हैं. सबसे ज्यादा चहल-पहल भी इसी हॉल में देखने को मिलती हैं.
किताबों के अलावा बुक फेयर में बच्चों के लिए वर्कशॉप, नुक्कड़ नाटक, कहानी और कविता पाठ जैसे आयोजन भी होते हैं, जिसमें बच्चे हिस्सा ले सकते हैं. तो इस बार विश्व पुस्तक मेले में जाएं और अपनी पसंदीदा किताबें खरीदें.
Edited by Manisha Pandey