लेफ्टिनेंट जनरल अनिल चौहान बने देश के दूसरे CDS, जनरल बिपिन रावत की मौत के 9 महीने बाद नियुक्ति
रक्षा मंत्रालय ने एक बयान जारी कर पूर्वी सेना के पूर्व कमांडर एवं सैन्य अभियान के पूर्व महानिदेशक लेफ्टिनेंट जनरल चौहान की नियुक्ति की घोषणा की. मंत्रालय ने कहा कि 61 वर्षीय चौहान उनके कार्यभार ग्रहण करने की तिथि से सैन्य मामलों से जुड़े विभाग के सचिव के रूप में भी कार्य करेंगे.
लेफ्टिनेंट जनरल अनिल चौहान (सेवानिवृत्त) को बुधवार को देश के नए प्रमुख रक्षा अध्यक्ष (CDS) के रूप में नियुक्त किया गया. जनरल बिपिन रावत की मृत्यु के बाद यह पद रिक्त था. पद रिक्त होने के नौ महीने से अधिक समय बाद इस पर नियुक्ति की गई है.
रक्षा मंत्रालय ने एक बयान जारी कर पूर्वी सेना के पूर्व कमांडर एवं सैन्य अभियान के पूर्व महानिदेशक लेफ्टिनेंट जनरल चौहान की नियुक्ति की घोषणा की. मंत्रालय ने कहा कि 61 वर्षीय चौहान उनके कार्यभार ग्रहण करने की तिथि से सैन्य मामलों से जुड़े विभाग के सचिव के रूप में भी कार्य करेंगे.
रक्षा मंत्रालय ने एक बयान में कहा, ‘‘सरकार ने लेफ्टिनेंट जनरल अनिल चौहान (सेवानिवृत्त) को अगले सीडीएस के रूप में नियुक्त करने का निर्णय लिया है, जो भारत सरकार, सैन्य मामलों के विभाग के सचिव के रूप में भी कार्यभार ग्रहण करने की तारीख से और अगले आदेश तक कार्य करेंगे.’’
जम्मू कश्मीर और पूर्वोत्तर में आतंकरोधी अभियानों का व्यापक अनुभव
लगभग 40 वर्षों से अधिक के अपने करियर में, लेफ्टिनेंट जनरल अनिल चौहान ने कई कमान, स्टॉफ और महत्वपूर्ण पदों पर कार्य किया है तथा उन्हें जम्मू कश्मीर और पूर्वोत्तर भारत में आतंकवाद विरोधी अभियानों का व्यापक अनुभव हैं. लेफ्टिनेंट जनरल चौहान पिछले साल मई में सेवानिवृत्त हुए थे. उस समय वह पूर्वी सेना कमांडर के रूप में कार्यरत थे.
लेफ्टिनेंट जनरल अनिल चौहान का जन्म 18 मई 1961 को हुआ और उन्हें 1981 में भारतीय सेना की 11 गोरखा राइफल्स में कमीशन प्रदान किया गया था. वह राष्ट्रीय रक्षा अकादमी, खडकवासला और भारतीय सैन्य अकादमी, देहरादून के पूर्व छात्र हैं. मेजर जनरल के रैंक में उन्होंने उत्तरी कमान में महत्वपूर्ण बारामुला सेक्टर में एक इन्फैंट्री डिवीजन की कमान संभाली थी.
बाद में लेफ्टिनेंट जनरल के रूप में, उन्होंने पूर्वोत्तर में एक कोर की कमान संभाली और सितंबर 2019 से पूर्वी कमान के जनरल ऑफिसर कमांडिंग-इन-चीफ बने तथा मई 2021 में सेवानिवृत्ति तक यह पदभार संभाला. इन कमान नियुक्तियों के अलावा वह महानिदेशक, सैन्य अभियान के प्रभार समेत महत्वपूर्ण पदों पर भी रहे. इससे पहले उन्होंने अंगोला में संयुक्त राष्ट्र मिशन के रूप में भी काम किया.
सेवानिवृत्त होने के बाद भी, उन्होंने राष्ट्रीय सुरक्षा एवं रणनीतिक मामलों में योगदान देना जारी रखा.
सेना में विशिष्ट और उल्लेखनीय सेवा के लिए लेफ्टिनेंट जनरल अनिल चौहान (सेवानिवृत्त) को परम विशिष्ट सेवा पदक, उत्तम युद्ध सेवा पदक, अति विशिष्ट सेवा पदक, सेना पदक और विशिष्ट सेवा पदक से सम्मानित किया जा चुका है. पिछले साल आठ दिसंबर को एक हेलीकॉप्टर दुर्घटना में जनरल रावत के निधन के बाद से सीडीएस का पद रिक्त था.
पिछले साल हेलीकॉप्टर दुर्घटना में पहले CDS रावत की मौत हो गई थी
देश के पहले CDS बिपिन रावत उनकी पत्नी मधुलिका रावत तथा सेना के 12 अन्य अधिकारी पिछले साल 8 दिसंबर को तमिलनाडु के कुन्नूर के पास हुई एक हेलीकॉप्टर दुर्घटना में मारे गए थे. उस दुर्घटना में ब्रिगेडियर लखबिंदर सिंह लिड्डर, लेफ़्टिनेंट कर्नल हरजिंदर सिंह, विंग कमांडर पीएस चौहान, स्क्वॉड्रन लीडर के सिंह, नायक गुरसेवक सिंह, नायक जितेंद्र कुमार, लांस नायक विवेक कुमार (जनरल रावत के पीएसओ), लांस नायक बी साई तेजा, जूनियर वारंट ऑफिसर दास, जूनियर वारंट ऑफिसर ए. प्रदीप और हवलदार सतपाल सवार थे. इन सभी की मौत हो गई थी.
CDS की मुख्य जिम्मेदारियां
CDS की मुख्य जिम्मेदारियों में सेना, नौसेना और वायुसेना के कामकाज में बेहतर तालमेल बिठाना और देश की सैन्य ताकत को और मजबूत करना है. केंद्र सरकार के मुताबिक सीडीएस की ज़िम्मेदारी रक्षा मंत्री के प्रमुख सैन्य सलाहकार के तौर पर है. सीडीएस के अधीन तीनों सेनाओं के मामले आते हैं. सीडीएस की डिफ़ेंस एक्विजिशन काउंसिल (डीएसी) और डिफ़ेंस प्लानिंग कमीशन (डीपीसी) जैसे महत्वपूर्ण रक्षा मंत्रालय समूहों में जगह होगी.
Edited by Vishal Jaiswal