एजेंटों के जरिए लोन रिकवरी नहीं कर पाएगी Mahindra Finance, गर्भवती महिला की मौत के बाद RBI की सख्ती
आरबीआई का यह फैसला झारखंड के हजारीबाग जिले में एक गर्भवती महिला (27) की मौत के बाद आया है, जिसे पिछले हफ्ते वसूली एजेंटों ने कथित तौर पर ट्रैक्टर के पहियों के नीचे कुचलकर मौत के घाट उतार दिया गया था.
महिंद्रा एंड महिंद्रा फाइनेंशियल सर्विसेज लिमिटेड (एमएमएफएसएल) को तीसरे पक्ष के एजेंटों के जरिये ऋण वसूली या संपत्ति वापस कब्जे में लेने से रोक दिया गया है. भारतीय रिजर्व बैंक ने बृहस्पतिवार को कहा कि उसका यह आदेश तत्काल प्रभाव से लागू है और अगले आदेश तक जारी रहेगा.
केंद्रीय बैंक ने बयान में कहा कि एमएमएफएसएल अपने कर्मचारियों के जरिये वसूली या कब्जे की गतिविधियों को जारी रख सकती है. बयान में कहा गया है, ‘‘भारतीय रिजर्व बैंक ने आज… महिंद्रा एंड महिंद्रा फाइनेंशियल सर्विसेज लिमिटेड (एमएमएफएसएल), मुंबई को आउटसोर्सिंग व्यवस्था के जरिये किसी भी वसूली या कब्जे की गतिविधि को तुरंत बंद करने का निर्देश दिया है.”
क्या है मामला?
आरबीआई का यह फैसला झारखंड के हजारीबाग जिले में एक गर्भवती महिला (27) की मौत के बाद आया है, जिसे पिछले हफ्ते वसूली एजेंटों ने कथित तौर पर ट्रैक्टर के पहियों के नीचे कुचलकर मौत के घाट उतार दिया गया था.
घटना शुक्रवार को झारखंड के हजारीबाग में हुई. हजारीबाग में ट्रैक्टर की किश्त समय पर न चुका पाने पर किसान का ट्रैक्टर जबरन उठाने आये फाइनेंस कंपनी के कर्मियों ने दिव्यांग किसान की गर्भवती बेटी को वाहन से कुचल दिया जिससे उसकी मौके पर ही मौत हो गयी.
महिला के पिता मिथिलेश मेहता ने दोषियों को फांसी देने की मांग की है. उन्होंने कहा, ‘‘मुझे सरकार से कुछ नहीं चाहिए, न तो कोई हर्जाना चाहिए न ही कोई सरकारी लाभ चाहिए. मुझे तो सिर्फ अपनी बेटी के लिए इंसाफ चाहिए और वह इंसाफ हत्यारों और जालिमों को मौत की सजा से कम कुछ भी नहीं हो सकता है.’’
मिथिलेश मेहता किसान हैं और उनके चार बच्चों में मोनिका सबसे बड़ी थी और नजदीक के ही डुमरांव गांव के एक व्यापारी से उसकी पिछले वर्ष मई में शादी हुई थी. वह तीन माह की गर्भवती थी.
हजारीबाग के वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक मनोज रतन चौथे ने बताया था कि इचाक पुलिस थाना क्षेत्र के बरियाठ के दिव्यांग किसान मिथिलेश मेहता को महिंद्रा फाइनेंस कंपनी से संदेश मिला था कि वह ट्रैक्टर खरीदने के लिए लिये गये कंपनी के कर्ज की एक लाख तीस हजार रुपये की बकाया किश्तें बृहस्पतिवार तक अवश्य जमा करा दें लेकिन जब वह ऐसा नहीं कर सका तो शुक्रवार को फाइनेंस कंपनी के एजेंट एवं अधिकारी उसके घर पहुंचे और उसका ट्रैक्टर उठा लिया.
उन्होंने बताया था कि जब वह किसान का ट्रैक्टर ले जाने लगे तो किसान उनके पीछे भागा और तत्काल एक लाख, बीस हजार की बकाया राशि देने की बात कही लेकिन फाइनेंस कंपनी के कर्मचारी नहीं माने और उसका ट्रैक्टर जबरन लेकर जाने लगे. उन्होंने बताया था कि दिव्यांग किसान की 27 वर्षीय बेटी मोनिका उन्हें रोकने के लिए पीछे भागी,लेकिन वह वाहन की चपेट में आ गई, जिससे उसकी मौके पर ही मौत हो गयी.
महिला की मौत के संबंध में पुलिस ने महिंद्रा फाइनेंस की एक फर्म ‘टीम लीज’ के कर्मचारी रोशन को गिरफ्तार किया था. महिंद्रा समूह के मुख्य कार्यपालक अधिकारी और प्रबंध निदेशक अनीश शाह ने महिला की मृत्यु पर शोक व्यक्त किया और भरोसा दिलाया कि घटना के सभी पहलुओं की जांच की जाएगी.
महिंद्रा ने थर्ड पार्टी सेवा लेना बंद किया
आरबीआई के निर्देश के बाद महिंद्रा फाइनेंस के उपाध्यक्ष एवं प्रबंध निदेशक रमेश अय्यर ने एक बयान में कहा, ‘‘हाल में हुई दुर्भाग्यपूर्ण घटना के मद्देनजर वाहनों को वापस अपने कब्जे में लेने के काम के लिए हमने तीसरे पक्ष की सेवा लेना बंद कर दिया है. तीसरे पक्ष के एजेंटों का भविष्य में किस तरह से इस्तेमाल किया जा सकता है इस पर अभी और विचार करेंगे.’’ उन्होंने बताया कि वाहनों के पुन: कब्जे के मामले में तीसरे पक्ष के अनुपालन के लिए उसकी एक विस्तृत नीति है.
Edited by Vishal Jaiswal