ये माँ और बेटे रोज़ाना बना रहे हैं मास्क, बाद में गरीबों को कर रहे हैं दान
इस पहल के साथ सौरभ यह सुनिश्चित करना चाहते हैं कि गरीब बिना रुपये खर्च किए मास्क का इस्तेमाल करें।
देश में कोरोना वायरस संक्रमण के मामले लगातार बढ़ते हुए नज़र आ रहे हैं। वैश्विक स्तर पर कोरोना वायरस संक्रमण के कुल मामलों की संख्या पर देश फिलहाल चौथे नंबर पर है, जबकि कोरोना वायरस के चलते हुई मौतों के मामले में देश नौवें नंबर पर है।
देश में मुंबई और दिल्ली दो सबसे अधिक प्रभावित महानगर हैं, जहां रोज़ करीब एक हज़ार केस सामने आ रहे हैं। इस बीच दक्षिणी दिल्ली में एक 24 वर्षीय व्यक्ति और उसकी माँ गरीबों के लिए मुफ्त मास्क बना रहे हैं और उन्हे बाँट रहे हैं।
यह एक पहल के तहत हो रहा है, जिसे उन्होंने "पिक वन, स्टे सेफ" कहा है। सिनेमेटोग्राफर सौरव दास और उनकी मां लक्ष्मी ने अब तक 2,000 से अधिक मास्क वितरित किए हैं, जो उनके द्वारा सिले गए हैं।
मीडिया से बात करते हुए सौरव ने कहा,
“ये कॉटन से बने हुए रीयूजेबल मास्क हर दिन, लगभग 25-40 मास्क बनाए जाते हैं और चित्तरंजन पार्क में पांच स्थानों पर बक्से में डाल दिए जाते हैं।"
उन्होंने कहा कि वे यह सुनिश्चित करना चाहते हैं कि गरीब बिना रुपये खर्च किए मास्क का इस्तेमाल करें। जिन बॉक्सों में ये मास्क डाले जाते हैं उन्हें सौरव ने खुद कांटैक्टलेस होना सुनिश्चित किया है। इन पाँच में से चार बक्सों को बाजारों में रखा गया है।
लक्ष्मी अपने खाली समय के दौरान मास्क सिलती हैं। सौरव के अंकल मास्क बनाने के लिए सूती कपड़ा प्रदान करते रहे हैं।