Budget 2023: क्लीन एनर्जी के लिए 35,000 करोड़ के फंड के साथ नैशनल ग्रीन हाइड्रोजन मिशन का ऐलान
वित्त मंत्री ने कहा कि सरकार ग्रीन फ्यूल, ग्रीन एनर्जी, ग्रीन फार्मिंग, ग्रीन मोबिलिटी, ग्रीन बिल्डिंग्स और ग्रीन इक्विपमेंट को बढ़ावा देने के लिए कई प्रोग्राम्स और पॉलिसी की शुरुआत कर रही है. इन उपायों से बड़े पैमाने पर ग्रीन एनर्जी से जुड़े क्षेत्रों में रोजगार के कई मौके आएंगे.
वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने बुधवार को वित्त वर्ष 2023-24 के लिए केंद्रीय बजट पेश किया. इस बार के बजट में सरकार का जोर पूरी तरह ग्रीन ग्रोथ पर केंद्रित था. बजट में ग्रीन एनर्जी से लेकर ग्रीन मोबिलिटी, ग्रीन बिल्डिंग्स जैसी तमाम चीजों के लिए फंड जारी करने के बात कही गई है.
निर्मला सीतारमण ने बजट पेश करते हुए 2070 तक नेट जीरो के लक्ष्य को दोहराया. उन्होंने कहा कि इस लक्ष्य को हासिल करने के लिए वित्त वर्ष 2022-23 के लिए 35,000 करोड़ रुपये के बजट जारी किया जाएगा है. इस फंड का इस्तेमाल क्लीन एनर्जी की तरफ तेजी से बढ़ने के लिए आवश्यक निवेश करने के लिए किया जाएगा.
बजट पेश करते हुए उन्होंने कहा कि सरकार ग्रीन फ्यूल, ग्रीन एनर्जी, ग्रीन फार्मिंग, ग्रीन मोबिलिटी, ग्रीन बिल्डिंग्स और ग्रीन इक्विपमेंट को बढ़ावा देने के लिए कई प्रोग्राम्स और पॉलिसी की शुरुआत कर रही है. इन उपायों से बड़े पैमाने पर ग्रीन एनर्जी से जुड़े क्षेत्रों में रोजगार के कई मौके आएंगे.
इसके अलावा वित्त मंत्री ने नैशनल ग्रीन हाइड्रोजन मिशन की भी घोषणा की. इसके तहत बजट में 19,700 करोड़ रुपये के फंड का ऐलान किया गया है. इस बजट के साथ भारत में कार्बन एमिशन के स्तर को और नीचे लाने में और फॉसिल फ्यूल इंपोर्ट्स के आयात पर निर्भरता घटाने में मदद मिलेगी.
इन दो प्रमुख ऐलानों के अलावा ग्रीन ग्रोथ के अन्य श्रेणियों के लिए हुए ऐलानों पर नजर डालते हैंः
हाइड्रोजन मिशन के जरिए 2030 तक सालाना उत्पादन बढ़ाकर किया जाएगा. बैटरी एनर्जी स्टोरेज सिस्टम्स को भी सपोर्ट करने के लिए फंडिंग दी जाएगी.
लद्दाख से इंटर स्टेट ट्रांसमिशन सिस्टम इवैकुएशन और रिन्यूएबल एनर्जी के 13 GW के ग्रिड इंटीग्रेशन के लिए 20,700 करोड़ रुपये के फंड का ऐलान किया गया है.
एनवायरनमेंट प्रोटेक्शन एक्ट के तहत ग्रीन क्रेडिट प्रोग्राम भी अधिसूचित किया जाएगा. ताकि लोगों के अंदर पर्यावरण अनूकूल व्यवहार विकसित हो.
वैकल्पिक फर्टिलाइजर्स के इस्तेमाल और केमिकल फर्टिलाइजर्स के संतुलित इस्तेमाल को बढ़ावा देने के लिए पीएम प्रोग्राम फॉर रेस्टोरेशन, अवेयरनेस, नरिशमेंट और अमेलिओरेशन ऑफ मदर अर्थ (PM-PRANAM) प्रोग्राम की शुरुआत की गई है.
गोबरधन स्कीम के तहत सर्कुलर इकॉनमी के लिए 500 नए वेस्ट टू वेल्थ योजनाओं की घोषणा हुई है. इसके अलावा एक करोड़ किसानों को नेचरल फार्मिंग अपनाने के लिए भी प्रोत्साहित किया जाएगा.
वनारोपण में भारत की सफलता का लाभ उठाने के लिए वित्त मंत्री ने मैंग्रोव इनीशिएटिव फॉर शोरलाइन हैबिटैट्स एंड टैंजिबल इनकम्स (MISHTI) स्कीम की घोषणा भी की है.
वित्त मंत्री ने कहा कि पुरानी प्रदूषण फैलाने वाली गाड़ियों को ईकोसिस्टम से हटाना ग्रीन इकॉनमी के लिए सबसे जरूरी कदम है. सीतारमण ने कहा कि केंद्र सरकारों, राज्य सरकारों की पुरानी गाड़ियों और एंबुलेंस को स्क्रैप करने के लिए पर्याप्त फंड भी जारी किया जाएगा.