Brands
Discover
Events
Newsletter
More

Follow Us

twitterfacebookinstagramyoutube
Youtstory

Brands

Resources

Stories

General

In-Depth

Announcement

Reports

News

Funding

Startup Sectors

Women in tech

Sportstech

Agritech

E-Commerce

Education

Lifestyle

Entertainment

Art & Culture

Travel & Leisure

Curtain Raiser

Wine and Food

YSTV

ADVERTISEMENT
Advertise with us

इस YouTube कुकिंग चैनल ने हासिल किए 1 करोड़ रिकॉर्ड सब्सक्राइबर्स; मिला डायमंड प्ले बटन

एक करोड़ सब्सक्राइबर्स के आंकड़े को पार करने के बाद, क्रिएटर्स ने कोविड के खिलाफ लड़ाई में मदद करने के लिए तमिलनाडु के मुख्यमंत्री जन राहत कोष में 10 लाख रुपये का दान दिया।

इस YouTube कुकिंग चैनल ने हासिल किए 1 करोड़ रिकॉर्ड सब्सक्राइबर्स; मिला डायमंड प्ले बटन

Friday August 06, 2021 , 3 min Read

Village Cooking Channel (VCC) एक करोड़ सब्सक्राइबर्स के आंकड़े को पार करने वाला पहला तमिल यूट्यूब चैनल बन गया है। अप्रैल 2018 में लॉन्च हुए चैनल की इस उपलब्धि पर क्रिएटर्स को YouTube की तरफ से 'Diamond Play Button' प्राप्त हुआ है।


पुदुक्कोट्टई के चिन्ना वीरमंगलम के युवाओं का एक समूह, जो किसानों के परिवार से आते हैं, चैनल चलाते हैं।


चैनल 75 वर्षीय पेरियाथांबी द्वारा चलाया जाता है, जो एक कैटरर थे, और उनके पोते सुब्रमण्यम, अयन्नार, तमिलसेल्वन, मुथुमनिकम और मुरुगेसन (चचेरे भाई) थे।

Village Cooking Channel

फोटो साभार:TheNewIndianExpress

'डायमंड प्ले बटन' प्राप्त करने और एक करोड़ सब्सक्राइबर्स हासिल करने के बाद, क्रिएटर्स ने अपने सब्सक्राइबर्स और YouTube को धन्यवाद देते हुए एक वीडियो पोस्ट किया। बाद में, उन्होंने कोविड के खिलाफ लड़ाई में मदद करने के लिए तमिलनाडु के मुख्यमंत्री जन राहत कोष में 10 लाख रुपये का दान दिया।



द न्यू इंडियन एक्सप्रेस की रिपोर्ट के अनुसार, वीडियो शूट करते समय उनके द्वारा बनाई गई हर डिश कम से कम 100 लोगों के लिए बनाई जाती है। भोजन को चैरिटी होम या उस गांव के लोगों में बांट दिया जाता है जहां वीडियो शूट किया जा रहा है।

अय्यनार ने कहा,

"हमें हमेशा देना सिखाया गया है। इसलिए, जब हमने 1 करोड़ सब्सक्राइबर्स का आंकड़ा पार किया, तो हम कुछ अच्छा करना चाहते थे। हमने मुख्यमंत्री एमके स्टालिन को 10 लाख रुपये का चेक सौंपा। हमें उम्मीद है कि यह कोविड से जूझ रहे लोगों की मदद करेगा। यह दान हमारे सभी दर्शकों की ओर से है, जिन्होंने हमें प्यार दिया है।"


वहीं, थथा पेरियाथांबी का कहना है कि कैटरर के रूप में उन्हें कभी कोई पहचान नहीं मिली। लेकिन यूट्यूब ने उन्हें वो शोहरत दी है जो वो चाहते थे।


6 लोगों की टीम ने शुरुआत में इस चैनल को सिर्फ पास टाइम के तौर पर शुरू किया था।


एनडीटीवी फूड की एक रिपोर्ट के अनुसार, एक सदस्य ने कहा, "हम 6 महीने खेती करते थे और बाकी छह महीने हमारे पास करने के लिए कुछ नहीं था। तब हमने चैनल लॉन्च करने का फैसला किया।"


लेकिन जल्द ही, उनका कंटेंट वायरल हो गया, प्रत्येक वीडियो को अधिक से अधिक बार देखा गया। वीडियो में आम तौर पर इन लोगों को पारंपरिक दक्षिण भारतीय खाद्य पदार्थ और अन्य विदेशी व्यंजनों को पारंपरिक खाना पकाने के तरीकों का उपयोग करते हुए कृषि क्षेत्रों में पकाते हुए दिखाया गया है। लीवर बिरयानी से लेकर पानी पुरी और गुलाब जामुन तक - सब कुछ चैनल पर पकाया जाता है। इन खाद्य पदार्थों को शुरू में परिवार और पड़ोसियों के बीच बांटा जाता था। लेकिन बाद में महामारी के दौरान, उन्होंने विभिन्न अनाथालयों और अन्य जरूरतमंद लोगों को भोजन दिया।


वेंचर कैपिटल फर्म Kalaari Capital की फाउंडर और मैनेजिंग डायरेक्टर वाणी कोला ने भी माइक्रोब्लॉगिंग साइट ट्वीटर पर एक के बाद एक चार ट्वीट करते हुए इस चैनल की कहानी साझा की और खुद को इससे प्रेरित बताया।

आपको बता दें कि चुनाव प्रचार के दौरान चैनल को काफी लोकप्रियता तब मिली थी जब कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने उनसे मुलाकात की थी। टीम ने कहा कि गांधी की यात्रा के बाद सब्सक्राइबर्स की संख्या 30,000 से बढ़कर 40,000 प्रति सप्ताह हो गई, जो पहले प्रति सप्ताह 10,000 सब्सक्राइबर्स हुआ करती थी। और उस वीडियो को 26 मिलियन व्यूज मिल थे।


Edited by Ranjana Tripathi