पहले कहा किसी की नौकरी नहीं जाएगी, अब 225 शहरों में बिजनेस बंद, Zomato पर उठे सवाल
कुछ समय पहले ही दीपिंदर गोयल ने कहा था कि जोमैटो में छंटनी नहीं होगी. अब खबर है कि हाल ही में कंपनी ने 225 शहरों में बिजनेस बंद कर दिया है. सवाल ये है कि उन शहरों में काम करने वालों का क्या हुआ?
कुछ दिन पहले तक ऑनलाइन फूड डिलीवरी कंपनी जोमैटो (
) के शेयरों में तगड़ी तेजी देखने को मिली. इसके बाद कंपनी के नतीजे आ गए और अब कंपनी के शेयरों में गिरावट का रुख देखने को मिल रहा है. इसी बीच एक खबर ये भी आ रही है कि जोमैटो ने लगभग 225 शहरों में अपना बिजनेस बंद कर दिया है. कंपनी के नतीजे आने से पहले जोमैटो के फाउंडर और सीईओ दीपिंदर गोयल (Deepinder Goyal) ने एक ट्वीट किया, जिसमें कहा था कि जोमैटो में छंटनी (Firing in Zomato) का दौर अभी नहीं आएगा. अब उस ट्वीट के संदर्भ में जोमैटो पर सवाल उठने लगे हैं.जोमैटो को नुकसान 5 गुना बढ़ा
अक्टूबर-दिसंबर तिमाही (Q3FY23) नतीजों में जोमैटो के सकल ऑर्डर मूल्य (GOV) का 0.3 फीसदी योगदान रहा है. इस दौरान कंपनी की कमाई तो बढ़ी है, लेकिन साथ ही नुकसान भी बढ़ा है. कंपनी का रेवेन्यू तीसरी तिमाही में करीब 75 फीसदी बढ़कर 1948 करोड़ रुपये पर पहुंच गया है. वहीं कंपनी का नुकसान करीब 5 गुना बढ़कर 346.6 करोड़ रुपये हो गया है. कंपनी का नुकसान बढ़ने की वजह से जोमैटो के शेयरों में तगड़ी गिरावट देखी जा रही है.
जोमैटो ने 225 शहरों में बिजनेस किया बंद
अपने तिमाही नतीजे जारी करने के साथ-साथ कंपनी ने फाइनेंशियल रिपोर्ट में एक और खास बात बताई है. कंपनी ने कहा है कि उसने करीब 225 छोटे शहरों में अपनी सेवाएं बंद कर दी हैं. कंपनी ने इसकी वजह बताई है कि उनका प्रदर्शन अच्छा नहीं था. वैसे तो कंपनी ने प्रॉफिटेबिलिटी की तरफ बढ़ने की बात कही है, लेकिन 225 शहरों में जोमैटो की सेवाएं बंद करने पर कुछ सवाल भी उठ रहे हैं.
दीपिंदर गोयल ने कहा था नहीं जाएगी किसी की नौकरी!
जोमैटो के नतीजे आने से कुछ वक्त पहले ही दीपिंदर गोयल ने एक ट्वीट किया था, जिसमें उन्होंने लिखा था- At Zomato, winter is NOT coming. यानी उनका कहना था कि जहां एक ओर दुनिया भर में टेक कंपनियां कर्मचारियों को निकाल रही हैं, वहीं जोमैटो में ऐसा नहीं होगा. उन्होंने कहा था कि यह वक्त तो अच्छा टैलेंट हायर करने के लिए बहुत ही शानदार मौका है.
अब सवाल उठता है कि अगर वह हायरिंग पर फोकस कर रहे हैं, तो 225 शहरों में जो बिजनेस बंद किया है, उससे क्या लोगों की नौकरी नहीं गई? अभी तक जोमैटो की तरफ से यह साफ नहीं हुआ है कि आखिर किन-किन शहरों में ऑपरेशन बंद किया गया और वहां के कर्मचारियों का क्या हुआ. उम्मीद है कि आने वाले दिनों में दीपिंदर गोयल ये तस्वीर साफ करेंगे, ताकि लोगों के मन में कोई कनफ्यूजन ना रहे.
हायरिंग के मामले में पहले भी हो चुके हैं ट्रोल
ये बात कुछ महीने पहले की है. जोमैटे की तरफ से करीब 800 वैकेंसी निकाली गई थीं. हालांकि, लिंक्डइन पर डाली इन वैकेंसी में कुछ ऐसा था, जिसे लेकर कंपनी की खूब आलोचना हुई. इसमें एक पोस्ट के लिए 24 घंटे सातों दिन काम करने की बात कही गई थी. साथ ही कहा था कि 'वर्क लाइफ बैलेंस' इसमें नहीं मिलेगा. पोस्ट में लिखा था- यह 24*7 की नौकरी है और 'वर्क लाइफ बैलेंस' की मानसिकता रखने वाले कर्मचारियों के लिए यह नहीं है. उसके बाद भी कंपनी काफी ट्रोल हुई थी.
क्या है कंपनी के शेयरों का हाल?
अगर बात आज यानी 13 फरवरी की करें तो कंपनी के शेयरों में 1.30 बजे तक करीब 2.53 फीसदी की गिरावट देखी गई है. इसी के साथ कंपनी का शेयर करीब 52 रुपये के लेवल पर पहुंच गया है. कुछ दिन पहले तक कंपनी के शेयरों में एक तेजी देखने को मिली थी. इस तेजी की वजह से शेयर 57 रुपये के लेवल के करीब जा पहुंचे थे. हालांकि, कंपनी के बेहद खराब नतीजों ने सारा खेल बिगाड़ दिया और जोमैटो के शेयर अब लगातार गिरते ही जा रहे हैं.