सरकार 5G टेस्टिंग के लिए शुरू करेगी 100 प्रयोगशालाएं, युवाओं को मिलेगा ये ख़ास मौका
Gandhi Jayanti के एक दिन पहले यानि 1 अक्टूबर को प्रधानमंत्री Narendra Modi ने 'इंडियन मोबाइल कांग्रेस' 2022(आईएमसी) के कार्यक्रम के दौरान 5G Services लॉन्च की थी. दूरसंचार क्रांति की दिशा में ये एक बड़ा कदम माना जा रहा है. लोगों के लिए पहले चरण में देश के सभी महानगरों समेत 13 शहरों में इस सेवा को शुरू किया जाएगा. इसमें दिल्ली, मुंबई, चेन्नई, कोलकाता, बेंगलुरु, चंडीगढ़, गुरुग्राम, हैदराबाद, लखनऊ, पुणे, गांधीनगर, अहमदाबाद और जामनगर शामिल हैं. 5G सेवा का लाभ लेने के लिए ये जरुरी है कि आपका मोबाइल फ़ोन 5G सर्विस सपोर्ट करता हो.
5G लॉन्च के दूसरे दिन 2 अक्टूबर को गाँधी जयंती के उपलक्ष्य पर केन्द्रीय संचार, इलेक्ट्रॉनिक्स और सूचना प्रौद्योगिकी मंत्री अश्विनी वैष्णव ने घोषणा करी कि सरकार देश में 5G प्रौद्योगिकी के लिए 100 प्रयोगशालाएं स्थापित करने की योजना बना रही है. वैष्णव ने दूरसंचार उद्योग को एक साथ आने के लिए आमंत्रित किया और छात्रों को प्रशिक्षित करने और प्रयोग करने के लिए इन 100 प्रयोगशालाओं में से कम से कम 12 को दूरसंचार इनक्यूबेटर में बदलने का अनुरोध किया.
वैष्णव ने कहा, ‘‘ हम देशभर में 5G की 100 प्रयोशालाएं स्थापित करने जा रहे हैं. मैं अनुरोध करता हूँ कि इन 100 प्रयोगशालाओं में से कम से कम 12 को विद्यार्थियों को प्रशिक्षण देने एवं प्रयोग करने के लिए दूरसंचार इनक्यूबेटर के रूप में परिवर्तित किया जाए’संचार मंत्री कहते हैं, ‘‘सरकार सभी दूरसंचार कंपनियों के लिए लाइसेंस व्यवस्था को आसान बनाने की दिशा में बढ़-चढ़कर काम कर रही है. मैं स्टार्टअप और एमएसएमई(MSME) की ऊर्जा देखकर वाकई खुश हूं, जो लोगों को लाभ पहुंचाने के लिए ग्रामीण क्षेत्रों में काम कर रहे हैं’’
टेलिकॉम कंपनी एचएफसीएल लिमिटेड(HFCL) ने 5G सेवाओं के रोलआउट में तेजी लाने के लिए 5जी लैब की शुरुआत की है. यह प्रयोगशाला निजी क्षेत्र, शिक्षाविदों और सरकार को ऑटोमेटेड टेस्ट का वातावरण बनाकर प्रोडक्ट इनोवेशन और कांसेप्ट से रियलिटी पर एक साथ काम करने का मौका प्रदान कर सकती है. यह विनिर्माण, परिवहन, स्वास्थ्य देखभाल और खुदरा सहित विभिन्न उद्योग क्षेत्रों की जरूरतों को पूरा करने वाले 5G उपयोग के मामलों के तेजी से प्रोटोटाइप के लिए एक सैंडबॉक्स प्रदान करता है. 5G लैब देश में ग्रामीण मोबाइल ब्रॉडबैंड के कुशल रोलआउट के लिए आवश्यक मोबिलिटी चार्ज सेल के लिए पूर्व-एकीकृत(Pre-Integrated) और पूर्व-मान्य(Pre-Validated) 5G समाधान बनाने में मदद करेगी.
जियो ने देश के हर गांव में 5G इंटरनेट सेवा को पहुंचाने के लिए 2 लाख करोड़ के निवेश की बात कही है. हालांकि इसे इतना आसान नहीं माना जा रहा है. तकनीकी जानकारों का मानना है कि ग्रामीण परिवेश में इस सेवा को पहुंचने में अभी कम से कम डेढ़ साल का समय लग सकता है. वहीं मोबाइल कंपनियां भी दावा कर रही हैं कि वह दिसंबर 2023 तक देश के हर कोने में 5जी सेवा को पहुंचा देंगी. अगर कंपनियों का दावा सही मान लें, जो जल्द ही हमारे देश के ग्रामीण भी 5G सेवाओं का लाभ उठा सकेंगे.