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गुणवत्ता से समझौता किए बिना ही निर्माण की लागत में कमी लानी होगी: नितिन गडकरी

केंद्रीय मंत्री नितिन गडकरी ने कहा कि डीपीआर बनाने के लिए ठेकेदारों और कंपनियों की रेटिंग हेतु नीति बनाने के प्रयास जारी हैं। उन्होंने कहा कि इथेनॉल, मेथनॉल के साथ ही बायो डीजल, बायो सीएनजी और इलेक्ट्रिक ग्रीन हाइड्रोजन भविष्य के लिए ईंधन का कार्य करेंगे।

गुणवत्ता से समझौता किए बिना ही निर्माण की लागत में कमी लानी होगी: नितिन गडकरी

Wednesday March 16, 2022 , 3 min Read

केंद्रीय सड़क परिवहन एवं राजमार्ग मंत्री नितिन गडकरी ने कहा है कि गुणवत्ता से समझौता किए बिना ही निर्माण की लागत में कमी लानी होगी। इंडियन इंफ्रास्ट्रक्चर द्वारा आयोजित 'भारत में सड़क विकास' विषय पर आयोजित 17वें वार्षिक सम्मेलन को संबोधित करते हुए उन्होंने कहा कि सड़कों के निर्माण में विभिन्न अपशिष्ट सामग्री जैसे रबर और प्लास्टिक का उपयोग करके सीमेंट तथा स्टील पर आधारित निर्भरता को कम किया जा सकता है।

नितिन गडकरी ने कहा है कि नवाचार, उद्यमिता, विज्ञान, अनुसंधान और कौशल इन सब को हम ज्ञान कहते हैं और इन्हें अपने उपयोग में लाना ही भविष्य है। केंद्रीय मंत्री ने कहा कि डीपीआर बनाने के लिए ठेकेदारों और कंपनियों की रेटिंग हेतु नीति बनाने के प्रयास जारी हैं। उन्होंने कहा कि इथेनॉल, मेथनॉल के साथ ही बायो डीजल, बायो सीएनजी और इलेक्ट्रिक ग्रीन हाइड्रोजन भविष्य के लिए ईंधन का कार्य करेंगे। गडकरी ने कहा कि यह देश के लिए अधिक विकल्प उत्पन्न करने और प्रतिस्पर्धा बढ़ाने का समय है।

केंद्रीय सड़क परिवहन एवं राजमार्ग मंत्री नितिन गडकरी

केंद्रीय सड़क परिवहन एवं राजमार्ग मंत्री नितिन गडकरी

नितिन गडकरी ने बताया कि बायोमास से कोलतार बनाने की नीति बनाने की भी योजना है। केंद्रीय मंत्री ने सड़क सुरक्षा पर जोर दिया और कहा कि इस क्षेत्र में सभी हितधारकों से अधिकाधिक प्रयासों की आवश्यकता है।

भारत तेजी से आर्थिक विकास की गति प्राप्त करने के लिए स्वच्छ ऊर्जा और कम कार्बन मार्ग के लिए प्रतिबद्ध है। हाइड्रोजन ऊर्जा रणनीति का एक प्रमुख तत्व है और यह निम्न कार्बन ऊर्जा पथ में महत्वपूर्ण भूमिका निभाएगा। ग्रीन हाइड्रोजन सड़क परिवहन सहित कई क्षेत्रों को कार्बन मुक्‍त करने के विशाल अवसर प्रदान करता है और यह विश्व स्तर पर अभूतपूर्व गति प्राप्त कर रहा है। ग्रीन हाइड्रोजन द्वारा संचालित परिवहन भविष्य का एक महत्वपूर्ण प्रौद्योगिकी विकल्प होने जा रहा है, विशेष रूप से बड़ी कारों, बसों, ट्रकों, जहाजों और ट्रेनों में और मध्यम से लंबी दूरी के लिए यह सबसे उपयुक्त है।

ऊर्जा के क्षेत्र में आत्‍मनिर्भरता प्राप्त करने की प्रधानमंत्री की परिकल्‍पना से जोड़ने और जीवाश्म ईंधन से ऊर्जा तैयार करने के लिए अनेक मार्गों को अपनाकर निरंतरता को बढ़ावा देने और हमारे पर्यावरण के संरक्षण की दिशा में, टोयोटा किर्लोस्कर मोटर प्राइवेट लिमिटेड प्रतिबद्धता ने इंटरनेशनल सेंटर फॉर ऑटोमोटिव टेक्नोलॉजी (ICAT) के साथ मिलकर दुनिया के सबसे उन्नत ईंधन बैटरी इलेक्ट्रिक वाहन (FCEV) टोयोटा मिराई का अध्ययन और मूल्यांकन करने के लिए एक पायलट परियोजना चलाई है, जो भारतीय सड़कों और जलवायु परिस्थितियों पर हाइड्रोजन पर चल रही है।

यह देश में अपनी तरह की पहली परियोजना होगी जिसका उद्देश्य हाइड्रोजन, FCEV प्रौद्योगिकी के बारे में जागरूकता फैलाना और भारत में हाइड्रोजन आधारित सोसायटी की सहायता के लिए इसके लाभों का प्रसार करना है। केन्‍द्रीय सड़क परिवहन और राजमार्ग मंत्री नितिन गडकरी 16 मार्च, 2022 को नई दिल्ली में 14:00 बजे से इस पायलट परियोजना का उद्घाटन करेंगे और टोयोटा मिराई FCEV का प्रदर्शन भी करेंगे।


Edited by Ranjana Tripathi