बेंगलुरु में सबसे अधिक बढ़ा ऑफिस स्पेस का किराया, जानिए सिंगापुर, मुंबई और दिल्ली-एनसीआर कितने महंगे?
कार्यालय किराये में 10.90 प्रतिशत की वृद्धि के साथ जकार्ता दूसरे स्थान पर रहा. वहीं, ताइपे किराये में 5.50 प्रतिशत की बढ़ोतरी के साथ चौथे स्थान पर है. उसके बाद सिंगापुर, ब्रिस्बेन, और सियोल का स्थान है.
चालू साल की जुलाई-सितंबर तिमाही में बेंगलुरु में ऑफिस स्पेस का किराया सालाना आधार पर 12.1 प्रतिशत बढ़ा है. यह एशिया-प्रशांत क्षेत्र (एपीएसी) में सबसे अधिक है. संपत्ति सलाहकार नाइट फ्रैंक की रिपोर्ट में यह जानकारी दी गई है. संपत्ति सलाहकार कंपनी ने वर्ष 2022 की तीसरी यानी जुलाई-सितंबर तिमाही के लिए एशिया-प्रशांत में प्रमुख स्थलों के ऑफिस स्पेस का किराया सूचकांक जारी किया है.
इसके अनुसार, 2022 की तीसरी तिमाही में बेंगलुरु 12.10 प्रतिशत सालाना वृद्धि के साथ सूची में सबसे ऊपर है. वहीं ऑफिस किराया में सालाना सात प्रतिशत की वृद्धि के साथ मुंबई तीसरे स्थान पर और दिल्ली-एनसीआर 14वें स्थान पर रहा.
रिपोर्ट के अनुसार, कार्यालय किराये में 10.90 प्रतिशत की वृद्धि के साथ जकार्ता दूसरे स्थान पर रहा. वहीं, ताइपे किराये में 5.50 प्रतिशत की बढ़ोतरी के साथ चौथे स्थान पर है. उसके बाद सिंगापुर, ब्रिस्बेन, और सियोल का स्थान है. रिपोर्ट में कहा गया है कि सूची में सिडनी आठवें स्थान पर है, जबकि पर्थ नौवें स्थान और शंघाई 10वें स्थान पर है.
यह रिपोर्ट एक तिमाही प्रकाशन पर आधारित है और यह एपीएसी के प्रमुख बाजारों में प्रमुख कार्यालय संपत्तियों के किराये के प्रदर्शन पर नजर रखता है. नाइट फ्रैंक के आंकड़ों के मुताबिक, बेंगलुरु, मुंबई और दिल्ली-एनसीआर में अप्रैल-जून तिमाही के मुकाबले किराया वृद्धि स्थिर रही थी.
आठ प्रमुख शहरों में पांच प्रतिशत महंगे हुए घर : रिपोर्ट
देश के आठ प्रमुख शहरों में इस वर्ष जनवरी-सितंबर के दौरान लागत में बढ़ोतरी और मांग में मजबूती के चलते आवास कीमतों में करीब पांच प्रतिशत की बढ़ोतरी हुई. संपत्ति ब्रोकरेज कंपनी प्रॉपटाइगर डॉट कॉम की एक रिपोर्ट से यह जानकारी मिली है.
ब्रोकरेज कंपनी ने बयान में कहा कि इस साल सितंबर तिमाही के अंत में आठ शहरों के प्राथमिक बाजारों में आवासीय संपत्तियों की भारित औसत कीमत 6,600-6,800 रुपये प्रति वर्ग फुट थी, जबकि 2021 की दिसंबर तिमाही के अंत में यह 6,300-6,500 रुपये प्रति वर्ग फुट थी.
प्रॉपटाइगर डॉट कॉम, हाउसिंग डॉट कॉम और मकान डॉट कॉम के समूह मुख्य वित्त अधिकारी (सीएफओ) विकास वधावन ने कहा, ‘‘प्राथमिक आवास बाजार में कीमतों में मामूली वृद्धि हुई है. यह वृद्धि सीमेंट और इस्पात जैसे प्रमुख कच्चे माल के दाम बढ़ने की वजह से हुई है.’’
वधावन ने कहा, ‘‘मई के बाद से आवास ऋण पर ब्याज दरों में लगभग दो प्रतिशत की बढ़ोतरी के बावजूद मजबूत मांग से आने वाली तिमाही में घरों की कीमतों में और वृद्धि की संभावना है. वहीं प्रमुख निर्माण सामग्री की कीमतें कम हुई हैं लेकिन पिछले वर्ष की तुलना में यह अब भी अधिक है.''
रिपोर्ट के अनुसार, अहमदाबाद में आवास कीमतें जुलाई-सितंबर की अवधि में पांच प्रतिशत बढ़कर 3,600-3,800 रुपये प्रति वर्ग फुट हो गईं. यह 2021 कैलेंडर वर्ष के अंत में 3,400-3,600 रुपये प्रति वर्ग फुट थी.
इस दौरान बेंगलुरु में आवासीय संपत्तियों का दाम 5,500-5,700 रुपये प्रति वर्ग फुट से छह प्रतिशत बढ़कर 5,900-6,100 रुपये हो गईं. वहीं चेन्नई में यह दो प्रतिशत की मामूली वृद्धि के साथ 5,500-5,700 रुपये हो गई, जबकि दिल्ली-एनसीआर में कीमतों में पांच प्रतिशत की वृद्धि हुई और यह 4,700-4,900 रुपये हो गई.
इसी तरह जुलाई-सितंबर के दौरान हैदराबाद में आवास कीमतें चार प्रतिशत बढ़कर 6,100-6,300 प्रति वर्ग फुट और कोलकाता में तीन प्रतिशत बढ़कर 4,400-4,600 प्रति वर्ग फुट हो गई.
महाराष्ट्र के शीर्ष दो बाजारों... मुंबई और पुणे में जुलाई-सितंबर, 2022 के दौरान कीमतें दिसंबर, 2021 की तुलना में क्रमश: तीन और सात प्रतिशत बढ़ी हैं और यह 9,900-10,100 रुपये तथा 5,500-5,700 रुपये प्रति वर्ग फुट पर पहुंच गईं.
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Edited by Vishal Jaiswal