सत्यजीत रे के सिनेमाटोग्राफर रहे सोमेन्दु रॉय को लाइफटाइम अचीवमेंट पुरस्कार
महान फिल्मकार सत्यजीत रे के साथ लंबे समय तक काम कर चुके सिनेमाटोग्राफर सोमेन्दु रॉय को 12 जनवरी को आयोजित पश्चिम बंगाल फिल्म पत्रकार संघ (डब्ल्यूबीएफजेए) के वार्षिक कार्यक्रम में लाइटाइम अचीवमेंट पुरस्कार से सम्मानित किया जाएगा।
रॉय 87 वर्ष के हैं और उन्होंने सत्यजीत रे के साथ 21 फिल्मों में काम किया है। अभिनेता प्रसेनजीत चटर्जी ने बताया कि डब्ल्यूबीएफजेए सोमेन्दु रॉय को सत्यजीत रे लाइफटाइम अचीवमेंट पुरस्कार से नवाजेगा।
चटर्जी को पुरस्कार समारोह के नामांकनों की घोषणा करने के लिए आमंत्रित किया गया था। डब्ल्यूबीएफजेए के महासचिव और मशहूर फिल्म समीक्षक निर्मल धर ने कहा कि लाइफटाइम अचीवमेंट पुरस्कार के अलावा 25 श्रेणियों में पुरस्कार दिए जाएंगे।
सोमेन्दु ने अपने करियर की शुरुआत रे की फिल्मों से ही की थी, लेकिन तब सोमेन्दु रॉय सिनेमाटोग्राफर न होकर ट्रॉली और लाइट का काम संभाला करते थे, हालांकि आगे के करियर में सोमेन्दु ने सत्यजीत रे के साथ 21 फिल्मों में काम किया, जिसमें रे की 15 फीचर फिल्में भी शामिल हैं।
सोमेन्दु ने रे के अलावा अन्य निर्देशकों के साथ भी काम किया है। इन निर्देशकों में तपन सिन्हा, तरुण मजूमदार, बुद्धादेब दास गुप्ता और एमएस सत्यु जैसे नाम शामिल हैं।
अपने इस लंबे करियर में सोमेन्दु ने कई अवार्ड भी जीते, इसमें राष्ट्रिय फिल्म पुरस्कार भी शामिल है। सोमेन्दु को उनकी सिनेमाटोग्राफी के लिए चार बार राष्ट्रिय फिल्म पुरस्कार से भी नवाजा गया।
1933 में जन्मे सोमेन्दु ने साल 1961 में निर्देशक सत्यजीत रे के साथ तीन कन्या से शुरुआत की, सोमेन्दु को यह मौका भी इत्तेफाकन ही मिला। सोमेन्दु इसके पहले सिनेमाटोग्राफर सुब्रत मित्रा को असिस्ट करते थे। तीन कन्या से पहले सत्यजीत रे ‘रबीन्द्रनाथ टैगोर’ पर आधारित एक डॉकयुमेंट्री पर काम कर रहे थे, जिसकी सिनेमाटोग्राफी सुब्रत मित्रा ही कर रहे थे।
इसी बीच सुब्रत की आँख में कुछ समस्या हो गई जिसके बाद वे सत्यजीत रे की अगली फिल्म के लिए अनुपलब्ध थे। इसके बाद रे ने सोमेन्दु रॉय के साथ काम करने का निश्चय किया और इस जोड़ी ने उसके बाद एक लंबा सफर तय किया। सोमेन्दु ने फीचर फिल्म, टीवी सीरियल और डॉकयुमेंट्री मिलाकर कुल 38 प्रोजेक्ट पर बतौर सिनेमाटोग्राफर काम किया है।