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शादी में नहीं चाहते अनचाहे गिफ़्ट्स? इस स्टार्टअप की मदद से आप भी चल सकते हैं दीपिका-रणवीर और प्रियंका-निक की राह पर

शादी में नहीं चाहते अनचाहे गिफ़्ट्स? इस स्टार्टअप की मदद से आप भी चल सकते हैं दीपिका-रणवीर और प्रियंका-निक की राह पर

Tuesday July 09, 2019 , 4 min Read

किसी ख़ास मौक़े पर और विशेष रूप से शादी के अवसर पर तोहफ़े का प्रचलन हमेशा से ही रहा है और वक़्त के साथ इसमें इजाफ़ा ही हुआ है। आजकल कुछ लोग ऐसे होते हैं, जो अपने आमंत्रण पत्र में ही इस बात का ज़िक्र कर देते हैं कि मेहमानों को तोहफ़ा लाने की ज़रूरत नहीं, लेकिन इसके बावजूद लोग ढेरों उपहार उनके खाते में डाल ही देते हैं।


आमतौर पर इनमें से ज़्यादातर गिफ़्ट्स ऐसे होते हैं, जिनकी आपको कोई ज़रूरत नहीं होती या उनकी कोई उपयोगिता ही नहीं होती। सामान या यूं कहें कि गिफ़्ट्स की इस बर्बादी को रोकने के लिए और गिफ़्ट लेने या न लेने के निर्णय का अधिकार शादीशुदा जोड़े को दिलवाने के लिए कनिका सुबियाह ने 2015 में वेडिंग विशलिस्ट की शुरुआत की।


वेडिंग विशलिस्ट

वेडिंग विशलिस्ट के फाउंडर्स (क्रमश: कनिका, सतीश और तनवी)



वेडिंग विशलिस्ट एक वेडिंग गिफ़्ट रजिस्ट्री प्लेटफ़ॉर्म है, जो चेन्नई से अपने ऑपरेशन्स संभालता है। कनिका सुबियाह कंपनी की को-फ़ाउंडर और सीईओ हैं। कनिका कहती हैं, "भारत में शादी जैसे ख़ास मौक़े पर खाली हाथ जाना सही नहीं माना जाता और इसलिए वेडिंग गिफ़्ट्स को संस्कृति से जोड़कर देखा जाता है। मैं मानती हूं कि मेहमानों को यह पता नहीं होता कि नवयुगल को किन चीज़ों की ज़रूरत है तो क्या ऐसा नहीं हो सकता कि एक गिफ़्ट रजिस्ट्री तैयार की जाए, जिसमें नवदंपती यह बता सकें कि वे क्या चाहते हैं और फिर मेहमान उसी लिस्ट में से तोहफ़ों का चुनाव कर सकें।"


योरस्टोरी के साथ बातचीत में कनिका ने बताया कि 2013 में उन्होंने चेरिटन नाम से एक गिफ़्टिंग प्लेटफ़ॉर्म की भी शुरुआत की थी। कनिका ने एक दशक से भी ज़्यादा समय तक यूएस में काम किया है। 


कनिका बताती हैं कि अब बॉलिवुड सितारों ने भी वेडिंग गिफ़्ट रजिस्ट्री के प्रचलन को अपना लिया है और इस वजह से भारत में लोग इस आइडिया के साथ आ रहे हैं। प्रियंका चोपड़ा-निक जोनास, दीपिका पादुकोण-रणवीर सिंह की जोड़ियां वेडिंग रजिस्ट्री के आइडिया को अपना चुकी हैं। 


कनिका ने 2015 में तन्वी सराफ़ और सतीश सुब्रमण्यन के साथ मिलतर वेडिंग विशलिस्ट की शुरुआत की थी। यह प्लेटफ़ॉर्म मुख्य रूप से बीटूसी मॉडल के तहत काम करता है और इसके माध्यम से यह जोड़ों को वेडिंग टेक्नॉलजीज़ की सुविधाएं देता है। हाल ही में, कंपनी ने बीटूबी मॉडल पर भी काम शुरू किया है, जिसके अंतर्गत वेडिंग प्लानर्स और इन्विटेशन डिज़ाइनर्स अपने प्रोडक्ट्स और सर्विसेज़ के लिए स्टोरफ़्रन्ट्स तैयार कर सकते हैं।


वेडिंग विशलिस्ट

वेडिंग विशलिस्ट की टीम



कपल्स वेडिंग विशलिस्ट प्लेटफ़ॉर्म पर साइन अप कर सकते हैं और अकाउंट बनने के बाद रजिस्ट्री बिल्डर, गिफ़्ट रजिस्ट्री तैयार करने में उनकी मदद करते हैं। कपल्स, होम अपलाइंसेज़, फ़र्नीचर, किचनवेयर, गिफ़्ट कार्ड्स आदि श्रेणियों में अपनी गिफ़्ट रजिस्ट्री तैयार कर सकते हैं। प्लेटफ़ॉर्म के ज़रिए मेहमानों तक कपल्स द्वारा भेजा गया लिंक पहुंचता है और मेहमान उस लिंक पर क्लिक करके जान सकते हैं कि कपल्स कौन से गिफ़्ट चाहते हैं और कहां पर चाहते हैं। इस हिसाब से ही गिफ़्ट्स की डिलिवरी कर दी जाती है।


कंपनी की को-फ़ाउंडर तन्वी बताती  हैं, "हमारे प्लेटफ़ॉर्म के ज़रिए, यूज़र्स डिजिटल इन्विटेशन्स, कस्टम मोनोग्राम और वेडिंग ऐप्स भी ख़रीद सकते हैं। साथ ही, हमारे फ़्री टूल्स जैसे कि वेडिंग चेकलिस्ट और बजट प्लानर का भी लाभ उठा सकते हैं। हम अपने यूज़र्स को रिटन गिफ़्ट्स का कैटेलॉग भी मुहैया कराते हैं, जिसमें से गिफ़्ट चुनकर यूज़र्स अपने मेहमानों को दे सकते हैं।" कंपनी के को-फ़ाउंडर सतीश का मानना है कि भारत में हर साल लगभग 1 करोड़ 10 लाख शादियां होती हैं, लेकिन वेडिंग इंडस्ट्री में तकनीकी सहयोग की भूमिका न के बराबर है। उनका कहना है कि वेडिंग विशलिस्ट ट्रेडिशन और टेक्नॉलजी को साथ लाने का काम कर रहा है।




इंडस्ट्री के एक्सपर्टस के अनुसार, भारत की वेडिंग इंडस्ट्री 1 लाख करोड़ की है और इसकी सालाना विकास दर 25 प्रतिशत तक है। कई स्टार्टअप्स अपनी सर्विसेज़ और प्रोडक्ट्स के साथ इस इंडस्ट्री में पहले ही आ चुके हैं। भारत में शादी पर औसत रूप से 5 लाख रुपए से लेकर 5 करोड़ रुपए तक खर्च होते हैं। 


जो गिफ़्ट्स बाहरी साइट्स के माध्यम से प्लेटफ़ॉर्म के कैटलॉग में जोड़े जाते हैं, उनके लिए वेडिंग विशलिस्ट सर्विस फ़ीस लेता है। कंपनी ने बताया कि फ़ेसबुक इंडिया की पूर्व एमडी कीर्तिगा रेड्डी और सॉफ़्टबैंक ने उनको बतौर ऐंजल इनवेस्टर फ़ंडिंग दी है। 


तन्वी बताती हैं कि हाल में कंपनी वेडिंग गिफ़्ट रजिस्ट्री को लोकप्रिय बनाने की दिशा में काम कर रही है और उनके कमिशन्स भी बहुत कम हैं। उनका कहना है कि भविष्य में कंपनी अपनी मुफ़्त वैल्यू-ऐडेड सर्विसेज़ के लिए फ़ीस चार्ज करने के बारे में भी सोच रही है। वेडिंग विशलिस्ट, गिफ़्ट रजिस्ट्री के साथ-साथ ई-इनवाइट्स, विडियो-इनवाइट्स, गेस्टेड लॉजिस्टिक्स ऐप, रिटर्न गिफ़्ट्स और कस्टमाइज़्ड मोनोग्राम डिज़ाइन्स की सर्विसेज  भी देता है।