डॉक्टरों और पुलिस कर्मियों के बच्चों को मुफ्त में लाइव कक्षाएं देती है यह एडटेक कंपनी
प्लैनेटस्पार्क (PlanetSpark) को आईएएन (IAN) और फिट्ज़ी (FIITJEE) द्वारा फंडिंग मिली है। यह अपने स्वामित्व वाली तकनीक (प्रप्राइइटेरी टेक्नीक) और गतिविधि आधारित विषयवस्तु का प्रयोग कर, K-8 ग्रेड के बच्चों के लिए लाइव ऑनलाइन कक्षाएं कराता है।
जब लॉकडाउन शुरु भी नहीं हुआ था तभी प्लैनेटस्पार्क (PlanetSpark) के सह–संस्थापक कुणाल मलिक ने अपने कार्यालय भवन के क्लिनिक में असामान्य परिस्थितियों पर ध्यान देना शुरु कर दिया था और लॉकडाउन शुरु होते हीं, डॉक्टरों, नर्सों और पुलिस कर्मियों का अपने– अपने परिवारों से दूर रह कर बिना थके, बिना किसी छुट्टी के अनवरत काम करने की खबरें आने लगीं।
इन खबरों ने मलिक और उनके सह–संस्थापक मनीष धूपर को भारत के वीर, बिना थके लगातार काम कर रहे कोरोना योद्धाओं की सेवा करने के तरीकों के बारे में सोचने पर मजबूर कर दिया।
और इस तरह पुलिस कर्मियों और चिकित्सा जगत के पेशेवरों के बच्चों के लिए शुरु हुईं प्लैनेटस्पार्क (PlanetSpark) की लाइव, फ्री ऑनलाइन ट्यूशन कक्षाएं।
मलिक बताते हैं,
"इन दिनों सभी माता–पिता के लिए बच्चों की प्रोडक्टिव तरीके से व्यस्त रखना बहुत बड़ी चुनौती है। हालांकि, स्वास्थ्य कर्मियों और पुलिस कर्मियों के लिए यह समस्या कहीं गंभीर है क्योंकि इन्हें महामारी से पीड़ित लोगों और अपने बच्चों के बीच किसी एक का चुनाव करना पड़ रहा है।"
हालांकि बहुत सारी फ्री वीडियो ऑनलाइन उपलब्ध हैं लेकिन वास्तविक समस्या को हल करने के लिए ये पर्याप्त नहीं हैं।
सह–संस्थापक मनीष धूपर ने कहा कि,
"कुछ डॉक्टर्स से बात करने के बाद हमने महसूस किया कि वास्तव में उन्हें कोई ऐसा व्यक्ति चाहिए जो बच्चों को सलाह दे सके, उनके लिए पढ़ाई की रूपरेखा बना सके और माता–पिता की अनुपस्थिति में उनकी प्रगति पर नज़र रख सके। इसलिए, हमने लाइव क्लासेस करानी शुरु की जिसमें राष्ट्र की सेवा को समर्पित इन योद्धाओं के बच्चों में हमारे शिक्षक कौशल का निर्माण कर सकते हैं।"
प्लैनेटस्पार्क (PlanetSpark) को आईएएन (IAN) और फिट्ज़ी (FIITJEE) द्वारा फंडिंग मिली है। यह अपने स्वामित्व वाली तकनीक (प्रप्राइइटेरी टेक्नीक) और गतिविधि आधारित विषयवस्तु का प्रयोग कर, K-8 ग्रेड के बच्चों के लिए लाइव ऑनलाइन कक्षाएं कराता है।
यह, लाइव और परस्पर संवादात्मक तरीके से अकादमिक कार्यक्रम (गणित, अंग्रेजी, विज्ञान), नए जमाने के कौशल (संचार, रीडिंग, कोडिंग, रोबोटिक्स) और हॉबी क्लासेस (ड्रॉइंग, स्केचिंग, संगीत) करा रहा है। हमारे देश के योद्धा किसी भी एक विषय को चुन सकते हैं और हर एक अतिरिक्त विषय पर 50% की छूट प्राप्त कर सकते हैं।
मनीष ने बताया कि प्लैनेटस्पार्क (PlanetSpark) की फ्री ऑनलाइन कक्षाओं से भारत के हेल्थकेयर और पुलिस कर्मियों के करीब 1500 बच्चे जुड़ चुके हैं। मनीष के मुताबिक प्लैनेटस्पार्क (PlanetSpark) ऐसे एक लाख बच्चों को कक्षाएं करा सकता है।
कंपनी की योजना अब पूरे देश के कोरोना योद्धाओं तक पहुँचने और इसे जन आंदलोन बनाने की है।
ऐसे में जबकि कई प्लेटफॉर्म बच्चों के लिए रिकॉर्ड किए गए वीडियो कंटेंट उपलब्ध करा रहे हैं, प्लैनेटस्पार्क (PlanetSpark) पहला एडटेक स्टार्टअप है जो बच्चों के लिए लाइव, इंस्ट्रक्टर–नीत कक्षाएं करा रहा है।
क्या आप भी किसी कोरोना योद्धा को जानते हैं? उन्हें प्लैनेटस्पार्क (PlanetSpark) की कक्षा में अपने बच्चे का दाखिला कराने के लिए इस लिंक पर जाकर पंजीकरण कराने को कहें (URL: https://www.planetspark.in/free_education)
क्या है प्लैनेटस्पार्क (PlanetSpark) ?
प्लैनेटस्पार्क (PlanetSpark) एक एडटेक कंपनी है जो ग्रेड K-8 तक के बच्चों को नए जमाने के कौशलों को सीखने के लिए लाइव ऑनलाइन कक्षाएं कराती है। यह लाइव, ऑनलाइन माहौल में अकादमिक कौशलों (गणित, अंग्रेजी, विज्ञान), गैर– अकादमिक कौशलों (कोडिंग, रोबोटिक्स, संचार कौशल, रीडिंग) और हॉबी क्लासेस (ड्रॉइंग, स्केचिंग) की व्यापक श्रृंखला को कवर करता है।
इस काम में इसकी तकनीक और विषयवस्तु इसकी सहायता करते हैं। इसे फिट्ज़ी (FIITJEE– भारत की सबसे बड़ी शिक्षण कंपनी), इंडियन एंजल नेटवर्क, लीड एंजल्स और हैदराबाद एंजल्स द्वारा सात लाख डॉलर ($700k) से अधिक का वित्तीय समर्थन मिला हुआ है।
इसकी स्थापना कुणाल मलिक और मनीष धूपर ने की थी। ये दोनों ही एक्सएलआरआई (XLRI) के 2012 बैच के स्नातक हैं। इन्हें यूनिलीवर, अर्बनक्लैप और नोवार्टिस में लर्निंग और डेवलपमेंट के क्षेत्र में काम करने का अच्छा–खासा अनुभव है।
Edited by रविकांत पारीक