स्वास्थ्य सेवाओं के लिए राज्य सरकार लाएगी 'राइट टु हेल्थ' कानून : गहलोत
मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने स्वास्थ्य सेवाओं के लिए राजस्थान को सर्वश्रेष्ठ गंतव्य बनाने का संकल्प जताते हुए मंगलवार को कहा कि राज्य सरकार 'राइट टु हेल्थ' कानून लाएगी।
सरकार के एक साल पूरे होने पर आयोजित ‘‘निरोगी राजस्थान’’ की दौड़ को हरी झंडी दिखा कर रवाना करने के बाद गहलोत ने संवाददाताओं से कहा,
‘‘हमारा सपना है कि राजस्थान पूरे मुल्क में स्वास्थ्य सेवाओं के लिए सर्वश्रेष्ठ गंतव्य बने, सिरमौर बने, जिससे दूसरे राज्य भी प्रेरणा ले सकें।'’
उन्होंने कहा कि सरकार की पहली वर्षगांठ के कार्यक्रमों की शुरुआत ‘‘निरोगी राजस्थान’’ से की गयी है, जो सरकार की प्रतिबद्धता को दिखाता है।
मुख्यमंत्री ने कहा,
‘'हर नागरिक स्वस्थ रहे, सरकार उनके स्वास्थ्य का विशेष ख्याल रखे, इसलिए एक तरफ हम लोग राइट टू हेल्थ कानून ला रहे हैं।'’
उन्होंने कहा,
‘‘इससे सरकार का दायित्व बढ़ जाएगा। प्रत्येक नागरिक के स्वास्थ्य का ध्यान रखने का सरकार का दायित्व के साथ ही हमारा फर्ज भी है। अच्छा स्वास्थ्य प्रत्येक नागरिक का अधिकार है, इस सोच के साथ में राइट टू हेल्थ कानून लाया जाएगा।’’
गहलोत ने कहा कि
“संवेदनशीलता के साथ साथ पारदर्शी होना और जवाबदेही के साथ सरकार चलाना अपने आप में चुनौती होता है।हमने उस चुनौती को स्वीकार किया है। हमारा पूरा प्रयास है कि प्रदेशवासियों के सहयोग से संवेदनशील, पारदर्शी और जवाबदेह सरकार चलाएं।’’
मुख्यमंत्री के अनुसार अब प्रदेश में सभी को मुफ्त इलाज मिल सकेगा। सरकार निकाय के हर वार्ड में जनता क्लीनिक खोलने जा रही है, जहां लोगों को बेहतर इलाज मुहैया हो सकेगा।
साथ ही सीएम गहलोत ने बताया कि अब प्रदेश में गरीब आदमी के लिए इलाज आसान हो गया है। सरकार की पहल के चलते अब महंगी से महंगी दवाएं भी मुफ्त में मिल रही हैं, जिससे गरीब लोगों को उचित इलाज आसानी से मिल पा रहा है।
प्रदेश में मेडिकल कॉलेज पर बात करते हुए सीएम गहलोत ने बताया,
"साल 1998 में सिर्फ 6 मेडिकल कॉलेज थे, जिनकी संख्या हमारी सरकार के एक साल में ही बढ़कर 15 हो गयी है।"
इस मौके पर सीएम गहलोत ने नशे को लेकर की कड़ी टिप्पणी करते हुए कहा कि सरकार नशे के खिलाफ व्यापक अभियान चलाने जा रही है। सरकार प्रदेश में जारी नशे के अड्डों पर शिकंजा कसने जा रही है।
(Edited by रविकांत पारीक)