GST की दर में बढ़ोतरी के खिलाफ 26 जुलाई से देशव्यापी आंदोलन करेंगे व्यापारी और दुकानदार
1 करोड़ से अधिक छोटे दुकानदारों और होलसेलर्स का प्रतिनिधित्व करने वाली कन्फेडरेशन ऑफ ऑल इंडिया ट्रेडर्स (CAIT) के राष्ट्रीय अध्यक्ष बीसी भरतिया एवं राष्ट्रीय महामंत्री प्रवीन खंडेलवाल ने कहा की आज से अनेक वस्तुओं पर 5 प्रतिशत या उससे अधिक कर लग रहा है. इससे इन वस्तुओं के महँगे होने की पूरी संभावना ह
खाद्य पदार्थों और घरेलू सामानों सहित विभिन्न उत्पादों और सेवाओं पर सोमवार से टैक्स की दर बढ़ाए जाने के खिलाफ कारोबारी और दुकानदार अगले हफ्ते राष्ट्रव्यापी हड़ताल करेंगे.
1 करोड़ से अधिक छोटे दुकानदारों और होलसेलर्स का प्रतिनिधित्व करने वाली कन्फेडरेशन ऑफ ऑल इंडिया ट्रेडर्स (CAIT) के राष्ट्रीय अध्यक्ष बीसी भरतिया एवं राष्ट्रीय महामंत्री प्रवीन खंडेलवाल ने कहा की आज से अनेक वस्तुओं पर 5 प्रतिशत या उससे अधिक कर लग रहा है. इससे इन वस्तुओं के महँगे होने की पूरी संभावना है जिसका बोझ सीधे तौर पर आम आदमी पर पड़ेगा.
उन्होंने बताया की इस देशव्यापी आंदोलन की शुरुआत आगामी 26 जुलाई को भोपाल से होगी तथा इस राष्ट्रीय आंदोलन में देश के 50 हज़ार से ज़्यादा व्यापारी संगठन भाग लेंगे. देश के प्रत्येक राज्य में व्यापारियों द्वारा अपने राज्य में सघन आंदोलन होगा और सभी राज्यों में बड़ी रैलियाँ होंगी वहीं सितम्बर में दिल्ली में एक बड़ी राष्ट्रीय रैली होगी.
उन्होंने यह भी बताया की इस आंदोलन में ट्रांसपोर्ट, किसान, स्वयं उद्यमी, महिला उद्यमी, छोटे एवं मध्यम निर्माता आदि के राष्ट्रीय एवं राज्य स्तरीय संगठनों को भी शामिल किया जाएगा और एक बड़ा मोर्चा इस संघर्ष को देशभर में पूरी ताक़त से लड़ेगा .
बता दें कि, पिछले महीने रसोईं में इस्तेमाल होने वाली सहित कुछ सामानों और सेवाओं पर जीएसटी को 12 फीसदी से बढ़ाकर 18 फीसदी कर दिया गया.
पिछले हफ्ते सरकार ने अधिसूचित किया था कि 18 जुलाई से बिना ब्रांड वाले और पहले से पैक तथा लेबल वाले खाद्य पदार्थों पर पांच फीसदी जीएसटी लगेगा. इससे पहले तक केवल ब्रांडेड सामान पर ही जीएसटी लगाया जाता था.
भारी विरोध के बाद केंद्रीय अप्रत्यक्ष कर एवं सीमा शुल्क बोर्ड(CBIC) ने रविवार देर रात कहा कि ‘एफएक्यू’ में कहा गया कि पांच फीसदी जीएसटी पहले से पैक उन्हीं वस्तुओं पर लगेगा जिनका वजन 25 किलोग्राम तक है. हालांकि खुदरा व्यापार विनिर्माता या वितरक से 25 किलो पैक सामान लाकर उसे खुले में बेचता है तो इस पर जीएसटी नहीं लगेगा.
इस बड़ी राहत के लिए कैट ने केंद्रीय वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण, जीएसटी कॉउन्सिल और केंद्रीय अप्रत्यक्ष कर बोर्ड के अध्यक्ष विवेक जौहरी को धन्यवाद दिया है की उन्होंने कैट द्वारा उठाये गए मुद्दों पर स्पष्टीकरण देकर मामले को सरल बना दिया.
बता दें कि, प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की सरकार 20 साल पुरानी केंद्रीय और राज्य की अप्रत्यक्ष कर प्रणाली को खत्म करते हुए साल 2017 में जीएसटी लेकर आई थी.
अप्रैल में उपभोक्ता मूल्य सूचकांक (CPI) आठ साल के उच्चतम स्तर पर पहुंचते हुए 7.79 फीसदी पहुंच गया था जकि यह मई और जून में 7 फीसदी से ऊपर रहा.