फ्लैट नंबर से चुना था सेल का दिन, 24 घंटे का टारगेट 10 घंटे में पूरा, यूं हुई थी बिग बिलियन डेज की शुरुआत
सचिन और बिन्नी के लिए बिग बिलियन डेज का सफल होना एक सपना सच होने जैसा था. इसके लिए उन्होंने बहुत मेहनत की थी. खैर, नतीजे उम्मीदों से बहुत ज्यादा शानदार रहे, तभी तो इस पर ग्राहक टूट पड़ते हैं.
इन दिनों
पर द बिग बिलियन डेज सेल (The Big Billion Days Sale) चल रही है. सचिन बंसल और बिन्नी बंसल कितने बड़े बिजनस गुरू है, इसका अंदाजा आप इस सेल से ही लगा सकते हैं. दोनों ने जब से इसे शुरू किया है, उसके बाद से यह सेल हर साल आती है और सबसे बड़ी सेल होती है. पिछले सालों में लोग तेजी से ऑफलाइन से ऑनलाइन की ओर शिफ्ट हुए हैं. लोग द बिग बिलियन डेज सेल के लिए महीनों पहले से अपना प्लान बनाने लगते हैं. खैर, इस सेल का इंतजार तो हर कोई करता है, लेकिन बहुत ही कम लोग जानते हैं कि इसकी शुरुआत कहां से हुई. आइए आज आपको बताते हैं द बिग बिलियन डेज की पूरी कहानी.2014 से शुरू हुई बिग बिलियन डेज की कहानी
द बिग बिलियन डेज की कहानी शुरू हुई थी 2014 में. उस वक्त फ्लिपकार्ट के को-फाउंडर्स सचिन बंसल और बिन्नी बंसल ने कुछ बड़ा करने की सोची थी. उन्होंने 7 साल पुराने अपने स्टार्टअप के लिए एक ऐसा प्लान बनाया, जिससे वह भारत के लोगों का शॉपिंग एक्पीरिएंस बदल सकें और साथ ही उसे बेहतर बना सकें. और वहां से द बिग बिलियन डेज के आइडिया ने जन्म लिया.
फ्लैट का नंबर था 610, इसलिए 6/10 तारीख चुनी
सचिन बंसल और बिन्नी बंसल ने द बिग बिलियन डेज के लिए 6 अक्टूबर 2014 की तारीख चुनी. ये तारीख चुनने के पीछे भी एक कहानी है. उन्होंने 2007 में जिस फ्लैट से अपना करियर शुरू किया था, उसका नंबर 610 था. इसलिए उन्होंने बिग बिलियन डेज के लिए 6/10 यानी 6 अक्टूबर की तारीख चुनी.
कई महीनों तक की तैयारी
सचिन और बिन्नी के लिए बिग बिलियन डेज एक ऐसा इवेंट था, जो उनके लिए कोई सपना सच होने जैसा था. हुआ भी वैसा ही, बिग बिलियन डेज की सफलता के बाद हर साल ये सेल होने लगी और लोग अब बेसब्री से इसका इंतजार करते हैं. उन्होंने बिग बिलियन डेज के लिए 2-3 महीने पहले से ही तैयारी शुरू कर दी थी.
5000 सर्वर लगाए थे, 20 गुना ट्रैफिक की थी उम्मीद
बिग बिलियन डेज का सफल होना सबसे अधिक इस बात पर निर्भर था कि टेक टीम कैसा काम करती है. उन्हें उम्मीद थी कि सेल वाले दिन ट्रैफिक 20 गुना तक हो सकता है. ऐसे में उन्होंने करीब 5000 सर्वर लगाए थे, ताकि वेबसाइट अचानक से बढ़े हुए ट्रैफिक को आसानी से संभाल ले. खैर, ट्रैफिक उनकी सोच से भी बहुत ज्यादा आया. इस पर फ्लिपकार्ट ने अपने ग्राहकों से कहा था कि वह अगली बार और बेहतर तैयारी के साथ आएंगे.
24 घंटे का टारगेट 10 घंटे में हुआ पूरा
पहली बिग बिलियन डेज के लिए फ्लिपकार्ट ने 24 घंटों में 100 मिलियन डॉलर के जीएमवी (GMV) का टारगेट रखा था. GMV यानी ग्रॉस मर्चेंडाइज वैल्यू. ग्रॉस मर्चेंडाइज वैल्यू ई-कॉमर्स प्लेटफॉर्म के माध्यम से एक निश्चित अवधि में बेचे गए माल का कुल मूल्य है. इस सेल से पहले फ्लिपकार्ट ने बिग बिलियन डेज का खूब विज्ञापन किया था, टीवी से लेकर अखबारों तक में इसके बड़े-बड़े विज्ञापन दिए थे. नतीजा ये हुआ कि 24 घंटे का टारगेट सिर्फ 10 घंटों में ही पूरा हो गया. महज 10 घंटों में ही 100 मिलियन डॉलर जीएमवी की सेल हो गई.
क्यों बिग-बिलियन डेज पर टूट पड़ते हैं लोग?
फ्लिपकार्ट का बिग बिलियन डेज ऐसी-ऐसी डील्स लाता है, जो उसने पहले कभी किसी को नहीं दी होती हैं. यही वजह है कि बिग बिलियन डेज पर लोग टूट पड़ते हैं. पहली बार की सेल में महज 24 घंटे में ही 15 लाख से भी अधिक लोगों ने खरीदारी की थी. जिस तरह से लोगों ने बिग बिलियन डेज सेल को रेस्पॉन्स दिया, उसे देखकर तो इसकी तुलना अमेरिका की ब्लैक फ्राइडे सेल से भी की जाने लगी. उसके बाद से हर साल बिग बिलियन डेज का आयोजन किया जाता है. फ्लिपकार्ट का ये दाव सुपरहिट रहा था, इसीलिए उसे टक्कर देने के लिए अमेजन ने भी ग्रेट इंडियन फेस्टिवल सेल की शुरुआत की, जो हर साल दिवाली से पहले आयोजित किया जाता है.