भारत आए अमेरिकी राष्ट्रपति ट्रम्प, जानें इनकी सुरक्षा व्यवस्था क्यों है सबसे खास?
अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रम्प भारत दौरे पर हैं और इस दौरान उनकी सुरक्षा व्यवस्था कई स्तर पर व्यवस्थित की गई है। अमेरिकी राष्ट्रपति की सुरक्षा में रणनीति और तकनीक का बेहतरीन मिश्रण रहता है।
भारत दौरे पर आए अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रम्प अहमदाबाद, आगरा और नई दिल्ली के भ्रमण पर हैं और इस दौरान राष्ट्रपति ट्रम्प के लिए सुरक्षा व्यवस्था सबसे पुख्ता है। विदेशी दौरे पर भी अमेरिकी राष्ट्रपति की सुरक्षा की ज़िम्मेदारी अमेरिकी खुफिया विभाग के पास होती है ऐसे में सुरक्षा व्यवस्था का खाका अमेरिकी सुरक्षा अधिकारी अपने पास ही रखते हैं।
दुनिया के किसी भी राष्ट्राध्यक्ष की तरह अमेरिकी राष्ट्रपति की सुरक्षा चाक-चौबन्द रहती है, लेकिन अमेरिकी राष्ट्रपति की सुरक्षा व्यवस्था कई मायनों में खास है, फिर चाहे जमीन पर उनकी आधिकारिक कार 'बीस्ट' हो या आसमान में उड़ता उनका आधिकारिक विमान 'एयरफोर्स वन'।
अमेरिकी राष्ट्रपति की सुरक्षा में रणनीति और तकनीक का अद्भुद मिश्रण देखने को मिलता है और इसी के साथ राष्ट्रपति की सुरक्षा को पुख्ता करने में अमेरिकी एजेंसियां कोई कसर नहीं छोड़तीं हैं।
क्या है एयरफोर्स वन?
एयरफोर्स वन अमेरिकी राष्ट्रपति का आधिकारिक विमान है, जिससे अमेरिकी राष्ट्रपति अन्य देशों की हवाई यात्रा करते हैं। इस विमान को अमेरिकी एजेंसियों ने खास तौर पर अमेरिकी राष्ट्रपति की सुरक्षा के लिहाज से डिजाइन कराया है। बोइंग 747-200 बी श्रेणी के इस विमान को हवा में उड़ता हुआ व्हाइट हाउस भी कहा जाता है। यह विमान इलेक्ट्रोमैग्नेटिक पल्स से भी मुक़ाबला करने में सक्षम है। गौरतलब है कि इलेक्ट्रोमैग्नेटिक पल्स किसी भी इलेक्ट्रिक मशीन को ठप करने में सक्षम होती हैं। ये पल्स बिजली गिरने या परमाणु विस्फोट के जरिये भी पैदा हो सकती हैं।
एयरफोर्स वन खास सुरक्षा फीचरों से लैस है। इस विमान को बनाने वाली कंपनी बोइंग का दावा है कि यह विमान एक बार उड़ान भरने के बाद अमेरिकी राष्ट्रपति को लेकर हर उस जगह लेकर जा सकता है, जहां अमेरिकी राष्ट्रपति जाना चाहते हैं। इस विमान में हवा में रीफ्यूलिंग की सुविधा मौजूद है। विमान के भीतर ही राष्ट्रपति के लिए एक बड़ा कमरा, ऑफिस, कॉन्फ्रेंस रूम और टॉयलेट मौजूद है। यह विमान 45 हज़ार 100 फुट कि अधिकतम ऊंचाई तक उड़ सकने में सक्षम है, वहीं अमेरिकी राष्ट्रपति इस विमान से ही युद्ध संबन्धित कमांड जारी कर सकते हैं।
आपातकाल के लिए विमान में एक चिकित्सा कक्ष भी मौजूद है, साथ ही विमान में यात्रा के दौरान डॉक्टर भी मौजूद रहते हैं। इस विमान में खास तरह के दो किचन भी हैं, जिसमें एक समय में सौ लोगों के लिए खाना तैयार किया जा सकता है।
बीस्ट कार में क्या है खास?
जिस तरह अमेरिकी राष्ट्रपति का आधिकारिक विमान ‘एयरफोर्स वन’ है उसी तरह अमेरिकी राष्ट्रपति जिस आधिकारिक कार की सवारी करते हैं उसका नाम ‘बीस्ट’ है। यह कार कैडलिक कंपनी की लिमज़िन मॉडल है, जिसकी कीमत करीब 10.7 करोड़ रुपये के आस-पास है। सुरक्षा लिहाज से यह कार किसी बंकर से कम नहीं है। कार को बेहद खास सुरक्षा फीचरों से लैस किया गया है।
कार के दरवाजे किसी बोइंग 757 विमान के दरवाजे जितने भारी और मजबूत हैं। कार की सभी खिड़कियाँ बुलेटप्रूफ हैं। इस कार में ड्राइवर समेत कुल 7 लोगों के बैठने की जगह मौजूद है। कार में बैठकर अमेरिकी राष्ट्रपति दूर बैठे उपराष्ट्रपति और अमेरिकी रक्षा विभाग पेंटागन से सीधे संपर्क साध सकते हैं।
यह कार शॉटगन, टियर गैस लांचर से भी लैस है। यह लांचर कार की हेडलाइट के नीचे स्थित होता है। कार में राष्ट्रपति के ब्लड ग्रुप वाला खून हमेशा मौजूद रहता है। गौरतलब है कि कार को इस तरह बनाया गया है कि इस पर रासायनिक हमले का भी कोई असर नहीं होगा। इस कार के टायर भी पंचर नहीं होते हैं।
बीस्ट नाइट विजन तकनीक से लैस होती है। मालूम हो कि कार का ड्राइवर को अमेरिकी सीक्रेट सर्विस का कर्मचारी होता है, जिसे कड़ी ट्रेनिंग के बाद ही अमेरिकी राष्ट्रपति की सुरक्षा के लिए चुना जाता है। यह ड्राइवर किसी भी मुश्किल हालात में कार में बैठे अमेरिकी राष्ट्रपति को सुरक्षित निकाल ले जाने में सक्षम है।
भारत में राष्ट्रपति की सुरक्षा?
अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रम्प के दौरे से पहले ही भारत में देश की सुरक्षा एजेंसियों और अमेरिकी सुरक्षा एजेंसियों ने सुरक्षा को लेकर कमर कस ली थी। अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रम्प अपनी पत्नी और अमेरिका की पहली महिला मेलानिया ट्रम्प, अपनी बेटी इवांका ट्रम्प और दामाद जेरेड कुशनर के साथ आये हैं। अमेरिकी राष्ट्रपति के लिए 5 टियर सुरक्षा घेरे की व्यवस्था है। अमेरिकी राष्ट्रपति की इस यात्रामें उनका विशेष हेलीकॉप्टर मरीन वन भी शामिल है।
अमेरिकी राष्ट्रपति की सुरक्षा के पहले घेरे की ज़िम्मेदारी पूरी तरह अमेरिकी सीक्रेट सर्विस के पास, जबकि दूसरे घेरे की सुरक्षा एनएसजी, चेतक कमांडो और अर्धसैनिक बालों के साथ स्थानीय पुलिस के पास रही।
गौरतलब है कि ट्रम्प के इस दौरे पर सिर्फ सुरक्षा व्यवस्था के लिए सरकार ने 100 करोड़ के करीब राशि खर्च की है। ट्रम्प के इस दौरे पर कड़ा प्रोटोकॉल फॉलो किया गया है।